DESK: बिहार में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे है। इसे देखते हुए गृह विभाग ने स्वास्थ्य विभाग को आवश्यक निर्देश दिया है। जिसमें कहा गया है कि जेल से छूटने वाले बंदियों को जेल से निकलने से पहले उनकी कोरोना जांच की जानी चाहिए। कोरोना जांच में यदि बंदियों की रिपोर्ट पॉजिटिव आती है तो उन्हें घर की जगह कोविड केयर सेंटर भेजा जाएगा।
कोरोना की जांच के लिए जेल में डॉक्टरों की टीम तैनात करने का आदेश गृह विभाग ने दिया है। जो जेल में बंद कैदियों की कोरोना जांच करेंगे। बंदियों की रिपोर्ट निगेटिव मिलने के बाद ही पेशी के लिए कोर्ट ले जाया जाएगा और जमानत मिलने के बाद वे घर भी जा सकेंगे। लेकिन यदि रिपोर्ट पॉजिटिव आई तो बंदियों को ना तो कोर्ट ले जाया जाएगा और ना ही जमानत मिलने के बाद वे घर ही जा सकेंगे।
कोरोना जांच में संक्रमित पाए जानेवाले बंदियों को जेल में अलग रखा जाएगा। वे जेल में ही क्वारंटाइन रहेंगे। जबतक उनके लक्षण कम नहीं होते या वह पूरी तरह ठीक नहीं हो जाते, उन्हें दूसरे बंदियों से अलग रखा जाएगा। ऐसे बंदियों के लिए सभी जेलों में अगल सेल बनाने का भी निर्देश दिया गया है।
गृह विभाग ने सूबे के सभी सिविल सर्जन को पत्र लिखकर यह निर्देश दिया है। जिला स्वास्थ्य विभाग जेल में डॉक्टरों की टीम भेजकर बंदियों के बीच जागरूकता अभियान चलाए इस बात का जिक्र भी इस पत्र में किया गया है। वही बंदियों को सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क लगाने के बारे में बताएंगे और उन्हें जागरूक करेंगे।