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GAYA : हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा के संरक्षक और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी गया (सु) लोकसभा सीट से चुनाव मैदान में हैं। एनडीए उम्मीदवार के तौर वह चुनाव लड़ रहे हैं और गया में घुम-घुमकर अपना चुनाव प्रचार कर रहे हैं। जीतनराम मांझी गांव-गांव जाकर लोगों से मिल रहे है और एनडीए के पक्ष में वोट देने की अपील कर रहे हैं। इसी क्रम में जीतनराम मांझी फतेहपुर प्रखंड के पकड़ी गांव और बतासी गांव पहुंचे, जहां लोगों की नाराजगी साफ दिख गई।
उनको देखकर भी लोग उन्हें नजरअंदाज कर रहे थे। जबकि लोगों को मालूम था कि मांझी बिहार के पूर्व सीएम हैं। इसके बावजूद उन्हें देखकर लोग इग्नोर करने लगे। कहने लगे कि हमको नहीं मिलना है मांझी से। अभी हम ताश खेल रहे हैं। मांझी जी आइल हथुन तो तू देखा, तोहर काम अइथुन..। ऐसा वाक्या शायद ही कभी देखने को मिला हो कि कोई बड़ा नेता सामने आए और लोग उनका स्वागत करने के बजाय ताश खेलने में ही व्यस्त रहे हों। लोग ताश के पत्तों को छोड़कर न उठे और न ही मांझी का अभिवादन ही किया। लोगों ने उनसे मिलने तक से इनकार कर दिया और उनकी तरफ देखा तक नहीं।
लोग कह रहे थे कि हम ताश खेल रहे हैं। हमको मांझी जी से नहीं मिलना है। जिनको मिलना है वो जाकर मिले। यह बात लोगों ने मांझी के सामने ही कह दी। जहां लोग ताश खेल रहे थे, वही पास में मांझी भी बैठे हुए थे। लोगों की बातें सुनकर वह भी हैरान थे। फिर मांझी ने अपने कार्यकर्ता को कहा कि इन्हें ताश खेलने दीजिए। डिस्टर्ब मत कीजिए। जिसके बाद वह अपने समर्थकों के साथ वापस चले गए। इसके बाद मांझी बतासी गांव पहुंचे। जहां उनको देखते ही लोग कहने लगे कि जो नाली और गली बनाएगा, हम उसी को वोट देंगे। इस दौरान बतासी में भी लोगों ने मांझी को इग्नोर कर दिया। जिसके बाद मांझी वहां से आगे बढ़ गये।