PATNA : लोजपा (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ने जमुई में अपनी मां को लेकर की गयी अभद्र टिप्पणी पर तेजस्वी यादव से दोषियों के खिलाफ कार्रवाई का अनुरोध किया है। इस संबंध में उन्होंने तेजस्वी यादव को पत्र लिखकर कहा कि मुझे दुख तब हुआ जब आपकी आंखों के सामने सबकुछ हुआ और आप खामोश रहे। इसके साथ ही अब चिराग ने इसे लेकर एक प्रेस वार्ता में तेजस्वी को निशाने पर लिया है। चिराग ने कहा कि राजद का कल्चर है गाली देना।
चिराग पासवान ने कहा कि मैं तेजस्वी यादव ने पूछना चाहता हूं कि आप कैसे नेता हैं जो आपको जानकारी नहीं होती कि आपके मंच पर क्या हो रहा है। इसको लेकर मीसा दी और उनकी पार्टी के नेता के साथ ही तेजस्वी यादव जो बातें कह रहे हैं वह कहीं से भी उचित नहीं है। आज भी मैं राबड़ी देवी जी को अपनी मां मानता हूं और तेजस्वी यादव मेरे छोटे भाई है। इसके बाबजूद इस तरह की बात कहना उचित नहीं है।
1980 में पैदा हुए लोग नहीं भूल सकते 90 का दशक
इसके आगे चिराग पासवान ने कहा कि 1980 में जन्म लिया हुआ कोई भी इंसान यह नहीं भूल सकता है कि 1990 के दशक में कैसे लोगों को गालियां दी जाती थी। यह राष्ट्रीय जनता दल का कल्चर है। ये लोग आज मेरी मां को गाली दे रहे हैं। कल यही हाल रहा तो गांव की महिला, बहन, बेटी को इनके कार्यकर्ता भी गाली देना शुरू कर देंगे। यह कहीं से भी अच्छी बात नहीं है।
सफ़ेद झूठ बोल रहे तेजस्वी
वहीं, तेजस्वी यादव के इस मामले में यह कहकर किनारा कर लेना कि वह उस समय भाषण दे रहे थे, पर चिराग ने कहा कि तेजस्वी यादव झूठ बोल रहे हैं। वह उस समय भाषण नही दे रहे थे। उनको भईया-भईया बोलकर एक नेता संबोधित कर रहा था। ऐसे में उनका भाषण वाला बहाना सही नही है। तेजस्वी मौन रहकर उसको अपनी सहमति दे रहे थे।
राजद की वजह से बिहार से लोगों का हुआ पलायन
चिराग ने कहा कि बिहार की जनता अब इसपर विचार करना होगा। उन्हें जंगलराज को याद करना होगा। उन्हें समझना होगा कि आखिर बिहार से लोग उस समय क्यों पलायन करने पर मजबूर थे। इसके बाद भी यदि राजद के नेतृत्व वाली पार्टी या उनके गठबंधन वाले कोई नेता यदि चुनाव जीतकर जाते हैं तो वहां मां, बहन, बेटी और गरीब परिवार के लोगों का रहना मुश्किल हो जायेगा।
दलित विरोधी है RJD की सोच
चिराग ने तेजस्वी के विजन को लेकर भी सवाल उठाते हुए कहा कि ये लोग बिहार के विकास की बात करते हैं। लेकिन क्या गरीबों और दलितों को डराकर विकास किया जा सकता है ? राजद के लोगों की सोच ही दलित विरोधी है। आज के समय में किसी भी सभ्य समाज के लोग इनके साथ नही हैं। इसी व्यवहार के कारण मुस्लिम और यादव समाज के लोग भी इनसे अब दूर होने लगे हैं। ये लोग बस अपने घर परिवार को ही प्राथमिकता देते हैं।