कोरोना से तबाही के बावजूद बिहार को ज्यादा आर्थिक नुकसान नहीं, मुफ्त वैक्सीनेशन में भी ज्यादा खर्च नहीं, देखिये आंकड़ा

कोरोना से तबाही के बावजूद बिहार को ज्यादा आर्थिक नुकसान नहीं, मुफ्त वैक्सीनेशन में भी ज्यादा खर्च नहीं, देखिये आंकड़ा

PATNA : कोरोना की दूसरी लहर से बिहार को बहुत ज्यादा आर्थिक नुकसान नहीं होने जा रहा है. हालांकि देश के कई राज्यों को भारी आर्थिक नुकसान उठाना पडेगा. 18 साल से ज्यादा उम्र वालों को मुफ्त वैक्सीन देने के बिहार सरकार के फैसले को अमल में लाने में भी बहुत ज्यादा पैसे नहीं खर्च करने होंगे. 


SBI की रिपोर्ट में दिया गया आंकड़ा
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के मुख्य आर्थिक सलाहकार सौम्य कांति घोष ने देश में कोरोना की दूसरी लहर से होने वाले आर्थिक नुकसान पर रिपोर्ट तैयार की है. इस रिपोर्ट के मुताबिक कोरोना को लेकर कर्फ्यू, आंशिक लॉक डाउन औऱ आवाजाही पर रोक से देश के विभिन्न राज्यों को तकरीबन 1 लाख 50 हजार करोड़ का आर्थिक नुकसान उठाना पड़ेगा. कई राज्यों को तो भारी आर्थिक झटका झेलना पड़ेगा.


बिहार को कम नुकसान
एसबीआई के मुख्य आर्थिक सलाहकार के आंकलन के मुताबिक कोरोना की दूसरी लहर से बिहार को ज्यादा नुकसान नहीं होने जा रहा है. उनकी रिपोर्ट के मुताबिक बिहार को करीब 6 हजार 222 करोड़ की क्षति होगी. हालांकि दूसरे कई राज्यों की आर्थिक स्थिति चरमरा जायेगी. रिपोर्ट के मुताबिक अकेले महाराष्ट्र को 82 हजार करोड़ रूपये का नुकसान होगा. वहीं कोरोना की दूसरी लहर से  मध्यप्रदेश को 21 हजार करोड़ औऱ राजस्थान को 17,237 करोड़ का आर्थिक नुकसान उठाना पड़ेगा. 


मुफ्त टीकाकरण में भी बिहार को ज्यादा खर्च नहीं
बिहार सरकार ने 18 साल से ज्यादा उम्र वाले लोगों को कोरोना का टीका मुफ्त देने का एलान किया है. इसमें भी कोई ज्यादा खर्च नहीं होने जा रहा है. दरअसल बिहार में 18 से 44 साल की उम्र वालों की तादाद लगभग साढ़े पांच करोड़ रूपये है. उन्हें टीका का दो डोज देने में कुल 11 करोड़ टीका लगेगा. देश में कोरोना के एक टीके की कीमत 400 रूपये रखी गयी है. ऐसे में बिहार को मुफ्त टीकाकरण में सिर्फ 4500 करोड़ रूपये खर्च करने होंगे.