PATNA : बिहार के बक्सर जिले में गंगा घाटों पर लाश मिलने का मामला तुल पकड़ने लगा है. इस मामले में पटना हाईकोर्ट ने सरकार से जवाब मांगा है. सोमवार को पटना हाईकोर्ट ने चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ में बक्सर में गंगा नदी के पास मिलें शव को लेकर भी सुनवाई की. कोर्ट ने राज्य के मुख्य सचिव और प्रमंडलीय आयुक्त को दोबारा से विस्तृत हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया गया है.
सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने आंकड़े में अंतर्विरोध पाया है. जानकारी के अनुसार कोर्ट में दायर हलफनामे में चीफ सेक्रेटरी और डिविजनल कमिश्नर की ओर से बक्सर में गंगा नदी में मिले शवों के आंकड़े मैच नहीं कर रहे थे. इसी को लेकर कोर्ट ने दोबारा हलफनामा दायर करने का आदेश दिया है.
पटना हाईकोर्ट ने कहा है कि बिहार सरकार रिपोर्ट में ये भी बताए कि बक्सर में मार्च 2021 से कितने लोग कोरोना से मरे हैं और कितने लोगों की मौत अन्य कारणों से हुई है. इसके अलावा पटना हाई कोर्ट ने इसके साथ ही कोरोना के मरीजों के अस्पताल लाने के लिए पर्याप्त संख्या में एम्बुलेंस की व्यवस्था करने का निर्देश भी सरकार को दिया है.
गौरतलब हो कि बक्सर के चौसा के पास गंगा नदी में दर्जनों की संख्या में शव मिले थे. जिसके बाद बिहार में हड़कंप मच गया था. राष्ट्रीय स्तर पर मीडिया ने इस मुद्दे को उठाया. हालांकि बिहार सरकार ने इस मामले में स्पष्ट किया था कि ये शव उत्तर प्रदेश से बहकर बिहार आए थे. वहीं अब 71 शवों को गंगा किनारे गड्ढा खोद कर दफना दिया गया है. ये शव ज्यादा सड़ गए थे इसलिए उनका पोस्टमार्टम नहीं हो सका था.