PATNA : पटना हाई कोर्ट ने प्राइवेट बस संचालकों के साथ भेदभाव करने के मामले पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार से जवाब मांगा है। जस्टिस राजन गुप्ता की खंडपीठ ने बिहार मोटर ट्रांसपोर्ट फेडरेशन द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को दस दिनों के भीतर जवाब दायर करने का निर्देश दिया।
याचिकाकर्ता के वकील अंशुल ने कोर्ट को बताया कि राजधानी पटना में बसों के परिचालन को लेकर प्राइवेट बस संचालक और सरकारी बस संचालकों के बीच भेदभाव किया जाता है। उनका कहना था कि जहां एक ओर प्राइवेट बस संचालकों को बैरिया बस स्टैंड भेज दिया गया है, वहीं दूसरी ओर सरकारी बसें गांधी मैदान और मीठापुर से चलाई जा रही हैं।
जिसके कारण प्राइवेट बस संचालकों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है। जिसपर खंडपीठ ने तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा कि अराजकता की यह स्थिति उचित नहीं है। इस मामले पर अगली सुनवाई 3 मार्च को होगी।