बिहार: अपहरण के बाद मासूम की निर्मम हत्या, शव की शिनाख्त ना हो इसे लेकर अपराधियों ने दोनों आंखें निकालीं और तेजाब से चेहरे को जलाया

बिहार: अपहरण के बाद मासूम की निर्मम हत्या, शव की शिनाख्त ना हो इसे लेकर अपराधियों ने दोनों आंखें निकालीं और तेजाब से चेहरे को जलाया

NAWADA: नवादा में अपहरण के बाद बदमाशों ने एक 8 साल के मासूम की निर्मम हत्या कर दी। अपराधियों की करतूत ऐसी जिसे देखकर लोगों के रोंगते खड़े हो गये। शव की पहचान ना हो सके इसके लिए बदमाशों ने मासूम की दोनों आंखें फोड़ डाली और तेजाब से चेहरे को जला दिया।  


गया के नीमचक बथानी क्षेत्र स्थित पहाड़ी के पास से शव मिलने से इलाके में हड़कंप मच गया। इस बात की खबर आग की तरह फैल गयी और देखते ही देखते मौके पर लोगों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। जिसके बाद इसकी सूचना पुलिस को दी गयी। सूचना मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लिया और उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज मामले की छानबीन शुरू की।  


मृतक की पहचान नगर थाना क्षेत्र निवासी सुनील कुमार के पुत्र अंशु के रुप में हुई है। परिजनों ने बताया कि पुलिस ने जानकारी दी कि बच्चे की लाश मिली है। आंख फोड़ कर और तेजाब डालकर बच्चे की निर्मम हत्या की गयी है। बता दें कि मृतक अंशु के दादा देवशरण यादव ने नगर थाना में अपने पोते के अपहरण का मामला दर्ज कराया था। पूरा मामला जमीन विवाद से जुड़ा हुआ है। जिसमें आईटीआई के रहने वाले कमल नयन सिंह, मनोज सिंह और बबलू सिंह को नामजद बनाते हुए प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी।


वही पुलिस ने बच्चे के जीजा इंद्रजीत कुमार उनके पिता संजय यादव और चाचा विकास कुमार को गिरफ्तार किया है। पुलिस सूत्रों के अनुसार इंद्रजीत की अंशु की बहन से एक साल पहले ही शादी हुई थी।अभी कुछ दिनों पूर्व अंशु के पिता सुनील कुमार ने अपनी एक जमीन 40 लाख रुपए में बेची थी। इंद्रजीत को जब इसकी जानकारी मिली तो वह ससुर से 20 लाख रुपए मांगने लगा लेकिन इंद्रजीत को रुपए नहीं मिले। इसके बाद से इंद्रजीत अपने ससुराल पक्ष से नाराज रहने लगा। आरोप है कि बच्चे के जीजा ने ही हत्या की है।


परिजनों ने बताया कि 8 जनवरी को अंशु घर के पास साइकिल चला रहा था तभी अपहरण कर लिया गया। जिसके बाद उसकी काफी खोजबीन की लेकिन कोई पता नहीं चल सका। जिसके बाद 3 लोगों के खिलाफ अपहरण का मामला दर्ज कराया गया। जमीन की खरीद-बिक्री के विवाद में अपहरण किया गया था। इस मामले में पुलिस पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए परिजनों ने 9 जनवरी को मुख्य सड़क को जाम कर हंगामा मचाया था। 



जिसके बाद हरकत में आई पुलिस ने तीनों नामजद को हिरासत में लिया और पूछताछ की। लेकिन जब बच्चे का सुराग नहीं मिला तो बॉन्ड भरवाकर तीनों को छोड़ दिया गया। बच्चे की निर्मम हत्या के बाद बदमाशों ने दोनों आंखें निकाल दी और चेहरे पर तेजाब डालकर जला दिया ताकि लाश की पहचान ना हो सके। फिलहाल पुलिस इस पूरे मामले की छानबीन में जुटी है।