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अवैध शराब भट्ठियों पर फूटा महिलाओं का गुस्सा, जान बचाकर भागे शराब तस्कर

अवैध शराब भट्ठियों पर फूटा महिलाओं का गुस्सा, जान बचाकर भागे शराब तस्कर

11-Feb-2022 06:26 PM

By RANJAN

SASARAM: शराब तस्करों के खिलाफ दिनारा प्रखंड के विशुनपुर टोला की महिलाओं ने मोर्चा खोल दिया है। अवैध शराब निर्माण से परेशान गांव की महिलाओं ने शुक्रवार को शराब तस्करों के अड्डों पर धावा बोला। आक्रोशित महिलाओं ने खेतों में चल रही शराब भट्ठियों को तहस-नहस कर दिया। एक साथ कई महिलाओं को देख शराब तस्कर जान बचाकर मौके से भागे। महिलाओं ने शराब बनाने के उपकरण व अन्य सामानों को जब्त कर किया। महिलाओं की नाराजगी पुलिस पर भी देखी जा रही है।


 इस दौरान पुलिस के खिलाफ भी महिलाओं ने प्रदर्शन किया और नारेबाजी की। महिलाओं का कहना है कि मद्य निषेध वाले टोल फ्री नंबर पर फोन करके शिकायत की जाती है तो पुलिस गांव में आकर निर्दोष लोगों को ही पकड़ लेती है और शिकायत करने वालों को खोजकर उस पर ही केस दर्ज करती है। शराब बिक्री की सूचना देने पर ग्रामीणों को उल्टे केस में फंसा दिया जाता है। 


रोहतास जिला के दिनारा प्रखंड के नटवार थाना क्षेत्र के करहंसी के बिशुनपुर टोला में शराब निर्माण से परेशान होकर महिलाओं का गुस्सा फूट पड़ा और सैकड़ों की संख्या में महिलाओं तथा ग्रामीण अवैध रूप से संचालित शराब भट्ठियों पर टूट पड़े। गांव-गांव में घूम घूम कर कई शराब भट्टीओ को ध्वस्त किया गया तथा धंधेबाजो को खदेड़ दिया। महिलाओं तथा ग्रामीणों का पुलिस प्रशासन पर भी काफी नाराजगी देखी जा रही है। ग्रामीणों का कहना है कि सरकार द्वारा जारी मद्य निषेध वाले टोल फ्री नंबर पर फोन करके शिकायत की जाती है तो पुलिस गांव में आकर निर्दोष लोगों को ही पकड़ लेती है तथा शिकायत करने वालों को खोजकर उसपर ही केस दर्ज कर देती है। 


शराब बिक्री की सूचना देने पर ग्रामीणों को उल्टे केस में फंसा दिया जाता है। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि थानाध्यक्ष एवं चौकीदार के संरक्षण में काराकाट इलाके में शराब बेचा जा रहा है। शिकायत करने पर उन लोगों की पिटाई की जाती है। ग्रामीणों का कहना है कि 3 दिन पूर्व उन लोगों ने जब मध निषेध विभाग के द्वारा जारी टोल फ्री नंबर पर फोन कर शराब भट्टी संचालन की सूचना दिया तो गांव में पुलिस पहुंची तथा सूचना देने वालों का पता लगाकर उन लोगों पर ही FIR कर दिया। साथ ही मारपीट भी की गई। ऐसे में ग्रामीणों ने निर्णय लिया कि अब पुलिस के भरोसे नहीं रहना है और भारी संख्या में महिलाओं, बच्चे, बुजुर्ग सभी हर टोले में जाकर शराब की चल रही तमाम भट्ठियों को ध्वस्त कर दिया। देसी शराब बनाने के तमाम उपकरण को जब्त कर बीच सड़क पर इकट्ठा किया।


ग्रामीणों का कहना है कि कई घंटे तक पुलिस को सूचना देने के बाद भी पुलिस नहीं पहुंच रही है। वरीय अधिकारियों को शराब के खिलाफ ग्रामीणों के अभियान की सूचना देने के बाद पुलिस पहुंची तो ग्रामीणों पर ही नाराजगी व्यक्त करने लगी। ग्रामीणों का कहना है कि उनके गांव में किसी हाल में शराब की बिक्री तथा बनाने का काम नहीं होगा। ग्रामीण तथा महिलाओं ने पुलिस प्रशासन पर शराब के धंधेबाज़ों से मिलकर गांव में देसी भट्ठा चलाने का आरोप लगाया है।


जिसके बाद कई देसी शराब की भठ्ठियों को ध्वस्त किया गया। ग्रामीण कहते हैं कि गांव के हर टोले में खुलेआम शराब की भठ्ठियां चल रही है। गांव का बच्चा-बच्चा इसे देख और जान रहा है लेकिन पुलिस कोई कार्रवाई नहीं कर रही हैं। इतना ही नहीं शराब बनाने वालों को पुलिस का संरक्षण मिला हुआ है। सबसे बड़ी बात है कि जो शराब पुलिस को नहीं मिल रहा है उसे गांव की महिलाएं खोज रही है। जो पुलिस की कार्यशैली पर भी सवाल खड़ा कर रहा है।