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30-Nov-2020 10:25 AM
DELHI : केंद्र सरकार के नए कृषि कानून के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों का आंदोलन अब बड़ा रूप लेता जा रहा है. किसान आंदोलन का आज पांचवा दिन है और दिल्ली की सीमा पर लगातार हजारों की तादाद में किसान जमे हुए हैं. किसानों ने सिंधु और टिकरी बॉर्डर पर अपना डेरा जमाए रखा और प्रशासन की तरफ से बुराड़ी स्थिति निरंकारी ग्राउंड में प्रदर्शन करने की इजाजत को उन्होंने ठुकरा दिया है.
केंद्र सरकार के रवैया को देखते हुए किसानों ने अब राष्ट्रीय राजधानी की नाकेबंदी की रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है. दिल्ली में प्रवेश करने के लिए कुल 5 बॉर्डर है जिनमें से दो को किसानों ने अपने जमावड़े से बंद कर रखा है. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पहले ही कह चुके हैं कि किसान अगर निरंकारी ग्राउंड पहुंचकर शांतिपूर्ण तरीके से आंदोलन करने को तैयार होते हैं तो सरकार उनके साथ बातचीत करेगी जबकि शाह के इस प्रस्ताव के उलट किसान लगातार यह मांग कर रहे हैं कि केंद्र सरकार सिंधु बॉर्डर पहुंचकर उनसे बातचीत करें. दिल्ली से निकलने का ऐसा कोई भी रास्ता नहीं है जहां किसानों की भीड़ नहीं दिख रही है. महीनों तक खाने-पीने का राशन लेकर दिल्ली कूच करने वाले किसान जिद पर अड़े हुए हैं कि सरकार किसान कानूनों को वापस ले.
किसान आंदोलन के कारण दिल्ली में लगातार फल और सब्जियों की कीमतें आसमान छू रही है. फलों और सब्जियों की आवक कम होने के कारण टीम से ऊपर की तरफ जा रहे हैं. दिल्ली वासियों के साथ-साथ सरकार के लिए भी परेशानी का सबब है. ऐसे में सरकार चाहती है कि किसान बुरारी ग्राउंड पहुंचकर आंदोलन करें ताकि यातायात को चालू किया जा सके.