Bihar Politics: प्रकाश पर्व पर तख्त श्री हरिमंदिर पहुंचे सीएम नीतीश कुमार, गुरु के दरबार में मत्था टेका Bihar Politics: प्रकाश पर्व पर तख्त श्री हरिमंदिर पहुंचे सीएम नीतीश कुमार, गुरु के दरबार में मत्था टेका Patna Crime News: घर से लेकर सरकारी भवनों तक में करते थे चोरी, पटना पुलिस की गिरफ्त में आए दो शातिर चोर Patna Crime News: घर से लेकर सरकारी भवनों तक में करते थे चोरी, पटना पुलिस की गिरफ्त में आए दो शातिर चोर New Year 2026: 1 जनवरी 2026 से होने जा रहे यह बड़े बदलाव, जानिए.. आपकी जेब पर क्या होगा असर? New Year 2026: 1 जनवरी 2026 से होने जा रहे यह बड़े बदलाव, जानिए.. आपकी जेब पर क्या होगा असर? Bihar electricity : बिहार में मुफ्त बिजली के बाद बढ़ी साइबर ठगी, विभाग ने जारी किया टोल फ्री नंबर;जानिए क्या मिलेगा फायदा Bihar politics update : बेटा के सामने बाप का सरेंडर ! राज्यसभा सीट की डिमांड पर मांझी बोलें - यह आपस की बात है, आपके सामने चर्चा नहीं... Bihar Bhumi: बिहार में दाखिल–खारिज की नई व्यवस्था लागू, सिर्फ एक आवेदन और पूरे परिवार की समस्या होगी दूर; भूमि विवाद के मामले होंगे खत्म Bihar Bhumi: बिहार में दाखिल–खारिज की नई व्यवस्था लागू, सिर्फ एक आवेदन और पूरे परिवार की समस्या होगी दूर; भूमि विवाद के मामले होंगे खत्म
13-May-2020 03:24 PM
DESK : एक तरफ जहां कोरोना लोगों के अपनो से दूर कर रही है तो वहीं मध्य प्रदेश में ठीक इसके उलट कोरोना महामारी के कारण एक परिवार के लिए उनका मरा हुआ बेटा जिंदा लौट आया.
मामला मध्यप्रदेश के छतरपुर का है. दरअसल छतरपुर के बिजावर इलाके के भगोला आदिवासी का बेटा 3 साल पहले लापता हो गया था. बेटे के लापता होने के कुछ दिन बाद ही दिसावर के मोनासैया जंगल में एक कंकाल मिला. भगोला आदिवासी ने इसकी पहचान अपने बेटे के रूप में की थी. परिजनों ने कंकाल का अंतिम संस्कार भी अपने बेटे की तरह ही कर दिया. उसका श्राद्ध कर्म भी पूरे रीति-रिवाज के साथ किया गया. परिवार अपने बेटे को मरा मानकर उसे भुला चुका था.
लेकिन कोरोना संकट के बीच कई राज्यों से मजदूर घर वापसी कर रहे हैं, ऐसे में अचानक बिलारी गांव का उदय आदिवासी अपने घर पहुंच गया. जिस बेटे का अंतिम संस्कार पिता ने अपने ही हाथों 3 साल पहले कर दिया था वह बेटा उसके सामने जिंदा खड़ा था. जिसके बाद घरवालों का खुशी का ठिकाना नहीं रहा. पिता अपने बेटे को लेकर पुलिस के पास पहुंचा. युवक ने पुलिस ने बताया कि वह 3 साल पहले अपने परिवार से नाराज होकर हरियाणा के गुरुग्राम चला गया था और वही एक फैक्ट्री में काम करता था. इस दौरान युवक ने अपने परिजनों से कोई संपर्क नहीं किया. लॉकडाउन के दौरान मजदूर अपने घर लौटने लगे तो युवक भी अपने घर वापस आ गया युवक की बात सुन पुलिस जांच में जुट गई है. आखिर जब युवक जिंदा है तो परिजनों ने जिस कंकाल का अंतिम संस्कार किया था वह किसका था. इस सवाल के जवाब ढूंढने की कोशिश अब पुलिस कर रही है.