रात में सरकारी अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचे सीतामढ़ी डीएम, मरीजों और परिजनों से लिया फीडबैक, बोले..लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी गिरिडीह में ट्रिपल मर्डर से सनसनी, महिला के साथ उसके बेटे-बेटी की निर्मम हत्या चाईबासा बाल सुधार गृह से 20 से अधिक बच्चे फरार, सुरक्षाकर्मी और गार्ड पर किया हमला Bihar Crime: अब अपराधियों की गिरफ्तारी और सजा के बाद संपत्ति भी होगी जब्त, 3 हजार नक्सली और 4000 बदमाशों की डाटाबेस STF के पास मौजूद Bihar Crime: अब अपराधियों की गिरफ्तारी और सजा के बाद संपत्ति भी होगी जब्त, 3 हजार नक्सली और 4000 बदमाशों की डाटाबेस STF के पास मौजूद Doctor-Population Ratio: भारत में डॉक्टर-जनसंख्या अनुपात में सुधार, स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार बिहार में बनेगी ऐसी जेल जिसकी कल्पना से ही अपराधियों की रूह कांप जायेगी, नीतीश सरकार ने ले लिया बड़ा फैसला बिहार में बनेगी ऐसी जेल जिसकी कल्पना से ही अपराधियों की रूह कांप जायेगी, नीतीश सरकार ने ले लिया बड़ा फैसला 4 दिवसीय चैती छठ महापर्व की शुरुआत: पटना DM-SSP ने दंडाधिकारियों और पुलिस पदाधिकारियों को दिये ये निर्देश INDIAN AIR FORCE AIR SHOW: पटना के आसमान में दिखेगा इंडियन एयर फोर्स का दम, सूर्यकिरण एरोबैटिक टीम का हैरतअंगेज एयर शो
28-Mar-2025 09:29 AM
CBSE EXAM: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) से जुड़ी यह बड़ी खबर निकल कर सामने आ रही है। बोर्ड वैसे छात्रों को एग्जाम देने से रोक सकती है जिन्होंने डमी स्कूल में अपना एडमिशन करवाया है। तो आइए जानते हैं कि इसको लेकर ताजा अपडेट क्या है।
जानकारी के अनुसार, CBSE ने अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि जो कक्षा 12 के छात्र 'डमी स्कूलों' में नामांकित हैं, उन्हें बोर्ड परीक्षा में बैठने से रोकने पर विचार करें। सीबीएसई के अधिकारियों ने इस बारे में बताया कि यदि छात्र नाम के लिए किसी डमी स्कूल से जुड़े हैं और असल में वहां पढ़ाई नहीं हो रही है, तो उन्हें परीक्षा में शामिल होने का मौका नहीं मिलेगा।
सीबीएसई ने यह भी कहा कि इस मामले की जिम्मेदारी छात्रों और उनके माता-पिता पर भी है, क्योंकि नियमित स्कूल न जाने का फैसला उन्हीं का होता है।
आपको बताते चले कि, पिछले साल दिसंबर में CBSE ने दिल्ली, बेंगलुरु, वाराणसी, बिहार, गुजरात और छत्तीसगढ़ के 29 स्कूलों में एक्शन लेकर 'डमी' छात्रों के नामांकन की जांच की थी। कई छात्र, खासकर जो इंजीनियरिंग और मेडिकल प्रवेश परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं, डमी स्कूलों में नामांकन करते हैं ताकि वे अपनी पूरी ऊर्जा केवल प्रतिस्पर्धी परीक्षा की तैयारी पर केंद्रित कर सकें। ये छात्र कक्षाओं में नहीं जाते और सीधे बोर्ड परीक्षा में बैठते हैं।