IPL 2025 Controversy: बांग्लादेशी खिलाड़ी को टीम में ले बुरी फंसी DC, अपने लोगों के विरोध के बाद पड़ोसी देश ने भी दिया झटका Bihar News: मुजफ्फरपुर में फिर बढ़े AES के मामले, एक्टिव मरीजों की संख्या बढ़कर हुई 16; अबतक SKMCH 19 मरीज पहुंचे Hinglaj Mata Mandir: पाकिस्तान में हिंदुओं का सबसे बड़ा तीर्थ स्थल ,बलूचिस्तान का हिंगलाज माता मंदिर...जहां लगता है लाखों श्रद्धालुओं का मेला India Pakistan: "पाकिस्तान किसी डरे हुए कुत्ते की तरह भारत से सीजफायर की भीख मांगने लगा था ", पेंटागन के पूर्व अधिकारी का बड़ा खुलासा Bihar Teacher News: शिक्षकों का वेतन नहीं तो अफसरों का भी नहीं, ACS एस.सिद्धार्थ ने सभी DEO को ऐसा आदेश क्यों जारी किया ? जानें... Bihar Crime News: युवक की पीट-पीटकर बेरहमी से हत्या, नाच के दौरान बैठने को लेकर हुआ था विवाद Bihar Crime News: युवक की पीट-पीटकर बेरहमी से हत्या, नाच के दौरान बैठने को लेकर हुआ था विवाद Bihar vehicle registration cancel: बिहार में डेढ़ लाख वाहन मालिकों की मुश्किलें बढ़ीं, परिवहन विभाग रद्द करेगा गाड़ियों का रजिस्ट्रेशन Bihar News: बीएन कॉलेज में बमबाजी में घायल छात्र की मौत, पटना में छात्रों ने अशोक राजपथ को किया जाम Gopal Mandal :घायल सांसद अजय मंडल से मिलने पहुंचे गोपाल मंडल, बोले- “सच में पैर टूट गया या सम्मेलन कर रहे हैं ?”
11-May-2025 02:33 PM
By First Bihar
Bihar News: बिहार विधानसभा से पहले लगातार बिहार में सौगातों की वर्षा हो रही है और नए-नए परियोजना पर कार्य किया जा रहे हैं। ऐसे में खबर सामने आई है कि सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने बिहार की वार्षिक कार्य योजना 2025-26 के तहत पुलों के निर्माण के लिए 3758 करोड़ रुपये की स्वीकृति दी है। इस राशि का सबसे बड़ा हिस्सा तीन प्रमुख परियोजनाओं के लिए निर्धारित किया गया है, जिनके लिए कुल 3500 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है।
इस स्वीकृत राशि में सबसे बड़ा हिस्सा गंडक नदी पर एक नए पुल के निर्माण के लिए आवंटित किया गया है। बेतिया से उत्तर प्रदेश के सेवराही तक एक 20 किमी लंबा पुल निर्माण किया जाएगा, जिसमें एप्रोच रोड भी शामिल है। इस परियोजना के लिए 1800 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है, जो कि परियोजना का सबसे बड़ा हिस्सा है। पटना में एक प्रमुख परियोजना के लिए 1308 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है। यह परियोजना अनिसाबाद से पटना एम्स के बीच एक 10 किमी लंबा एलिवेटेड कारिडोर बनाने की है, जिसका उद्देश्य शहर में यातायात व्यवस्था को सुधारना और जाम की समस्या से निपटना है।
इसके अलावा, कमला नदी पर एनएच 227 (पुराना एनएच 104) पर दो किमी लंबा फोर लेन पुल बनाने के लिए 400 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है। यह पुल राज्य के यातायात की गति को बढ़ाने में सहायक साबित होगा। इसके अलावा, पांच अन्य परियोजनाओं के लिए राशि आवंटित की गई है, जिनमें कोई भी परियोजना 100 करोड़ रुपये से अधिक की नहीं है। इन परियोजनाओं के अंतर्गत पुलों के मरम्मत और निर्माण कार्य के लिए नारायणा ब्रिज (एनएच 333 ए) की मरम्मत के लिए 50 करोड़ रुपये, मांगोबंदर पुल (एनएच 333 ए) की मरम्मत के लिए 50 करोड़ रुपये, सती घाट पुल (एनएच 333 ए) के लिए 10 करोड़ रुपये, सती घाट पुल (एनएच 333 ए) के लिए 10 करोड़ रुपये, मगरदाही घाट पुल (एनएच 322) के निर्माण के लिए 65 करोड़ रुपये और कटया हाइडल पुल (एनएच 131) के निर्माण के लिए 75 करोड़ राशि आवंटित की गई है।
सभी पुल परियोजनाओं को ईपीसी मोड (Engineering, Procurement, and Construction) में लागू किया जाएगा, जो एक कुशल और पारदर्शी निर्माण प्रक्रिया है। इन परियोजनाओं का बिहार के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में यातायात व्यवस्था को सुधारने और सड़क सुरक्षा को बढ़ाने के लिहाज से महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ेगा। इसके अलावा, यह बिहार के आर्थिक विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, क्योंकि बेहतर सड़कें और पुल व्यापार और सामाजिक गतिविधियों के लिए सहायक साबित होंगे।
गंडक पुल परियोजना से उत्तरी बिहार और उत्तर प्रदेश के बीच आवागमन बेहतर होगा, जिससे व्यापार और यातायात में तेजी आएगी। पटना एम्स के लिए एलिवेटेड कारिडोर परियोजना से शहर में यातायात दबाव कम होगा और समय की बचत होगी। अन्य पुल परियोजनाओं से क्षेत्रीय कनेक्टिविटी बेहतर होगी, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों का विकास होगा और स्थानीय लोगों को राहत मिलेगी।