PATNA : भारत साधु समाज के महामंत्री स्वामी हरिनारायणानंद का निधन हो गया है। लंबे अरसे से बीमार चल रहे स्वामी हरिनारायणानंद ने बीती रात पटना के एक नर्सिंग होम में अंतिम सांस ली। स्वामी हरिनारायणानंद के निधन की खबर ज्यादातर लोगों को मिली ही नहीं क्योंकि पटना के तारा नर्सिंग होम में निधन के बाद उनके पार्थिव शरीर को लेकर बड़ी मठ से संबंध रखने वाले लोग नालंदा के लिए रवाना हो गए। स्वामी हरिनारायणानंद की अंतिम यात्रा को क्यों गुमनाम बनाने का प्रयास किया जा रहा है यह भी अपने आप में बड़ा सवाल है।
भारत साधु समाज के महामंत्री के तौर पर स्वामी हरिनारायणनंद ने देश भर में ख्याति बटोरी। देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू से लेकर अन्य प्रधानमंत्रियों, राष्ट्रपति बिहार के मुख्यमंत्रियों के अलावे दूसरे राज्यों के मुख्यमंत्रियों, राज्यपालों से उनके बहुत मधुर संबंध रहे। समय-समय पर इन सबकी मुलाकात स्वामी जी से होती रही। साल 2018 में जब स्वामी हरिनारायण आनंद बीमार हुए तो उन्हें देखने के लिए यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी आए थे।
इसके अलावा बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी उनका हालचाल लेने अक्सर पहुंचा करते थे लेकिन अब उनके निधन के बाद आखिर किन हालातों में स्वामी जी के पार्थिव शरीर को बड़ी मठ ले जाया गया है इसे समझने की जरूरत है। दरअसल बड़ी मठ की संपत्ति को लेकर विवाद बताया जा रहा है और स्वामी जी की इस विरासत पर अपनी पकड़ बनाए रखने के लिए अलग-अलग धड़ों की तरफ से यह प्रयास किया जा रहा है कि आनन-फानन में उनका अंतिम संस्कार किया जाए।
हैरत की बात यह है कि स्वामी हरिनारायणनंद का पार्थिव शरीर अंतिम दर्शन के लिए पटना में नहीं रखा गया। आज रामनवमी का दिन है और स्वामी जी राजा बाजार स्थित विद्यापीठ में ही रहा करते थे। स्वामी हरिनारायणनंद के निधन की खबर भी बहुत कम लोगों को मिल पाई है। फर्स्ट बिहार आपको इस खबर के साथ-साथ स्वामी जी के अंतिम संस्कार को लेकर चल रही नालंदा में तैयारी के बारे में भी बता रहा है। स्वामी जी के निधन की दुखद खबर के साथ साथ बड़ी तकलीफ वाली खबर ये भी है की गुमनाम तरीके से उनका अंतिम संस्कार किया जा रहा है।