MUZAFFARPUR : उत्तराखंड के उत्तरकाशी सुरंग में पिछले 17 दिनों से फंसे 41 मजदूरों के परिजनों के लिए मंगलवार की देर शाम मंगलकारी खबर आयी, जिसका सभी बेसब्री से इंतजार कर रहे थे। यहां बिहार के मुजफ्फरपुर जिला के एक मजदूर भी टनल में फंसे थे। इसके बाद अब मुजफ्फरपुर गिजास गांव के दीपक के घर में अब दिवाली जैसा माहौल है।
दरअसल, उत्तरकाशी की सिलक्यारा टनल में फंसे 41 मजदूरों के रेस्क्यू के बाद पूरे देश ने राहत की सांस लेते हुए राहत और बचाव दलों के प्रयास की सराहना की है। वहीं सुरंग से सकुशल बाहर आए मजदूरों से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फोन पर बात कर उनकी कुशलता जानी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहले दिन से ही उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से इन मजदूरों के लिए किए जा रहे रेस्क्यू ऑपेरशन का अपडेट ले रहे थे।
वहीं, उत्तराखंड के उत्तर काशी टनल में फंसे 41 मजदूरों के बाहर निकलने की खबर जैसे ही बिहार के मुजफ्फरपुर गिजास गांव के दीपक के घर वालों को मिली। वैसे ही यहां दिवाली जैसा माहौल बन गया। इनके घर में पटाखे फूटने लगे। इनके घर और आस - पड़ोस में मिठाईयां बांटी गई। यह घटना दिवाली के दिन हुआ था, लिहाजा उस दिन तो दीवाली नहीं मनाई गई थी। लेकिन, अब देर रात दीपक के घर और गांव में दिवाली जैसा उत्सव दिखने लगा। दीपक के पिता शत्रुघन राय माता उषा देवी सहित पड़ोसी ने काफी खुशी जाहिर की और भारत के प्रधानमंत्री और उत्तराखंड के मुख्यमंत्री को काफी धन्यवाद दिया।
आपको बताते चलें कि, सुरंग से निकाले जाने के बाद सभी मजदूरों को चिन्यालीसौड़ में बनाए गए अस्पताल ले जाया गया। यहां पर मजदूर 48 घंटों तक डॉक्टरों की निगरानी में रहेंगे। इसी के बाद उन्हें उनके परिजनों से मिलने भेजा जाएगा. अधिकारियों को आदेश दिए गए हैं कि अस्पताल में मजदूरों का इलाज और उनके घर जाने की पूरी व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। अस्पताल में इलाज का खर्चा भी उत्तराखंड सरकार उठाएगी. साथ ही साथ उनके रहने खाने की व्यवस्था का खर्च भी सरकार के ही जिम्मे होगा और उन्हें घर पहुंचाने का भी।