अलग पूर्वांचल राज्य को लेकर गरम है BJP की सियासत, तो क्या.. केंद्र और योगी इस वजह से हैं आमने-सामने

अलग पूर्वांचल राज्य को लेकर गरम है BJP की सियासत, तो क्या.. केंद्र और योगी इस वजह से हैं आमने-सामने

DESK : उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के पहले बीजेपी में अंदरूनी हलचल तेज है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात करने पहुंचे हैं। दोनों नेताओं के बीच यूपी की सरकार से लेकर संगठन तक पर चर्चा हो रही है लेकिन इस बीच जो नई खबर सामने आ रही है उसके मुताबिक यूपी में बीजेपी के अंदर मौजूदा खींचतान की असल वजह अलग पूर्वांचल राज्य हो सकता है। विधानसभा चुनाव के पहले यूपी से अलग पूर्वांचल राज्य के गठन को लेकर अटकलें तेज हो गई हैं। 


बीते कुछ दिनों में बीजेपी के केंद्रीय नेतृत्व और उत्तर प्रदेश में सरकार का नेतृत्व संभालने वाले योगी आदित्यनाथ के बीच तनातनी की खबरें सामने आती रही हैं। कैबिनेट विस्तार से लेकर संगठन में फेरबदल तक के के अटकलों के बीच कई बार यह तक कहा गया कि शायद विधानसभा चुनाव के पहले मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बीजेपी किसी और को बिठा दे। लेकिन योगी को मुख्यमंत्री पद से हटाने की तमाम अटकलों पर विराम लग चुका है। इस बीच योगी आदित्यनाथ गुरुवार को दिल्ली पहुंचे। दिल्ली पहुंचने पर उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से डेढ़ घंटे तक मुलाकात की और आज वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने पहुंचे हैं। योगी आदित्यनाथ की आज ही बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा से भी मुलाकात होनी है। 


बीजेपी के अंदर खाने से जो नई खबर सामने आ रही है उसके मुताबिक यूपी में अलग पूर्वांचल राज्य के गठन को लेकर केंद्र सरकार विचार कर रही है। अगर ऐसा हुआ तो पूर्वांचल के लगभग 25 जिले इस नए राज्य में शामिल हो सकते हैं। लगभग 125 विधानसभा सीटें इस नए राज्य का हिस्सा होंगी। खास बात यह है कि योगी आदित्यनाथ का गढ़ माने जाने वाले गोरखपुर को भी नए राज्य का हिस्सा बनाया जाएगा। योगी आदित्यनाथ फिलहाल इस बात को लेकर सहमत नहीं दिख रहे हैं। आपको बता दें कि अलग पूर्वांचल, बुंदेलखंड और हरित प्रदेश की मांग लंबे अरसे से चलती नहीं है हालांकि पूर्वांचल के विकास के लिए योगी आदित्यनाथ ने 28 जिलों का चयन किया था और उस पर काम भी किया गया है लेकिन अगर बीजेपी का केंद्रीय नेतृत्व वाकई अलग पूर्वांचल राज्य बनाने की दिशा में आगे बढ़ना चाहता है तो योगी इस राह में सबसे बड़ी दीवार होंगे। जानकार सूत्र बता रहे हैं कि उत्तर प्रदेश के अंदर मौजूदा विवाद किसी मसले को लेकर है। ऐसे में प्रधानमंत्री मोदी के साथ योगी आदित्यनाथ की यह मुलाकात बेहद महत्वपूर्ण मानी जा रही है।