PATNA : राजधानी पटना में लगातार कोरोना का कहर देखने को मिल रहा है। पटना यूनिवर्सिटी कैम्पस भी इस बार कोरोना की चपेट में आ गया है। पटना यूनिवर्सिटी के कुलपति प्रो. गिरीश कुमार चौधरी कोरोना संक्रमित हो गए हैं। इसके बाद यहां कई स्टाफ की कोरोना जांच की गई है।
रविवार को पीएमसीएच के दो डॉक्टर और 7 स्टाफ पॉजिटिव पाए गए हैं। पीएमसीएच में कुल 71 मरीज संक्रमित पाए गए हैं। असपताल में इलाज करा रहे पूर्णिया के मरीज राजकुमार भगत की मौत हो गई। वहीं एम्स में कोरोना के 10 नए मरीज भर्ती हुए । ये जगदेवपथ, रूपसपुर, पाटलिपुत्र कॉलोनी, गोला रोड के रहने वाले हैं ठीक होने पर चार मरीजों को छुट्टी मिली। यहां जहानाबाद के 90 वर्षीय मरीज शिव यादव की मौत हो गई। एम्स में अभी 109 मरीज भर्ती हैं । पीएमसीएच कोविड अस्पताल में 86 मरीज भर्ती हैं। पटना के रुबन हॉस्पिटल में 33 मरीज भर्ती हैं। एम्स में 2509 सैंपल की जांच में 254 सैंपल की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। एनएमसीएच में कोरोना मरीजों के लिए सभी बेड फुल हो गए हैं। यहां कोरोना के 106 मरीज भर्ती हैं। अस्पताल प्रशासन ने बेड फुल होने का स्टीकर भी लगा दिया है। इसकी पुष्टि अधीक्षक डॉ. विनोद कुमार सिंह ने की। यहां तीन पॉजिटिव मरीजों की मौत हो गई। मृतकों में भोजपुर के अजीत प्रताप, गया के सफीक उल्लाह खान और कंकड़बाग की चिंता सिंह शामिल हैं।
ज्यादा संक्रमित मिलने के कारण रिकवरी दर भी घटकर 91 प्रतिशत पर पहुंच गयी है। एक समय जिले की रिकवरी दर 99 प्रतिशत पर पहुंच गयी थी। चिकित्सकों ने बताया कि पिछले वर्ष इस समय लॉकडाउन था। सड़क, यातायात, बाजार व दुकानें पूरी तरह से बंद थीं। वैवाहिक गतिविधियां व अन्य समारोह भी पूरी तरह से बंद थे। ऐसे में लोग एक दूसरे से कम मिल पाते थे। इस कारण उस समय संक्रमण अपेक्षाकृत काफी कम फैला।