PATNA : इस वक्त एक बड़ी खबर पटना से सामने आ रही है. लोक जनशक्ति पार्टी में टूट के बाद चिराग पासवान के समर्थक बेकाबू हो गए हैं. चिराग के चाचा पशुपति कुमार पारस द्वारा उठाये गए कदम का काफी विरोध देखा जा रहा है. लोजपा के समर्थक पार्टी कार्यालय में घुसकर काफी हंगामा कर रहे हैं. नाराज कार्यकर्ताओं ने पशुपति कुमार पारस के नेम प्लेट पर कालिख पोत दी है. कार्यकर्ता आक्रोशित होकर पशुपति पारस मुर्दाबाद के नारे लगा रहे हैं.
नाराज लोजपा कार्यकर्ताओं ने का कहना है कि वो पशुपति कुमार पारस को कुछ नहीं मानते हैं. पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ही उनके लिए सबकुछ हैं. कार्यकर्ताओं ने कहा कि उन्हें पार्टी कार्यालय में घुसने नहीं दिया जा रहा है. जबकि आज तक चिराग के नेतृत्व में ऐसा नहीं हुआ. पार्टी कार्यकर्ताओं को ही पार्टी कार्यालय से बाहर निकाल कर फेंका जा रहा है. पशुपति पारस पार्टी को चलाना नहीं चाहते हैं, वह पद और पावर के लिए चिराग पासवान के साथ गद्दारी कर रहे हैं.
नाराज कार्यकर्ताओं ने मीडिया से कहा कि पशुपति पारस को कोई नहीं जानता है. पार्टी के कार्यकर्ता चिराग पासवान के साथ हैं. चिराग पासवान ने जो मान सम्मान पार्टी के कार्यकर्ताओं को दिया है, वो पशुपति पारस कभी नहीं दे पाएंगे. ऐसे में लोजपा के उत्तराधिकारी चराग पासवान थे और चिराग पासवान ही पार्टी को संभालेंगे. पूरी पार्टी चिराग पासवान के साथ है.
उधर दूसरी ओर चाचा को मनाने की सारी कोशिशें बेअसर होने के बाद चिराग पासवान ने पशुपति कुमार पारस समेत पार्टी के बागी सांसदों को जवाब देने का फैसला कर लिया है. लोजपा सूत्रों से बड़ी खबर सामने आ रही है. चिराग पासवान ने अपनी पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की आपात बैठक बुला ली है. इस बैठक में पारस समेत पार्टी के तमाम सांसदों के खिलाफ कार्रवाई का फैसला लिया जा सकता है.
लोजपा सूत्रों से मिल रही जानकारी के मुताबिक चिराग पासवान ने शाम चार बजे अपनी पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलायी है. वर्चुअल तरीके से ये बैठक होगी. हालांकि दिल्ली में पार्टी के राष्ट्रीय कार्यसमिति के कुछ सदस्य मौजूद हैं. वे चिराग के साथ बैठक में मौजूद रहेंगे. बैठक में पारस औऱ उनके सहयोगी सासंदों को पार्टी से निकालने का फैसला लिया जा सकता है.
वहीं दूसरी ओर पशुपति पारस ने भी राष्ट्रीय कार्यसमिति की बैठक बुलायी है. उन्होंने इसके लिए सूरजभान का सहारा लिया है जो पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष हैं. अध्यक्ष को गैर हाजिर करार देकर उपाध्यक्ष के जरिये बैठक बुलाने की कार्रवाई की जायेगी औऱ वहां चिराग पासवान को अध्यक्ष पद से हटाने की कागजी कार्रवाई होगी. वैसे वस्तुस्थिति ये है कि राष्ट्रीय कार्यसमिति में चिराग पासवान के समर्थकों का बहुमत है. लिहाजा पारस किसी तरह कागजी कार्रवाई पूरी कर चुनाव आय़ोग के समक्ष दावा पेश करेंगे.