PATNA : बिहार में लगातार कई भ्रष्ट अफसरों के खिलाफ एक्शन लिया जा रहा है। इसी बीच पटना के दानापुर में मनरेगा की राशि में हेराफेरी करने वाले पंचायत तकनीकी सहायक को बर्खास्त कर दिया गया है। उनपर आरोप लगा है कि उन्होंने मनरेगा के तहत 2020 में किए गए पौधरोपण योजना की राशि का गोलमाल कर दिया है।
मामला दानापुर के गंगहरा पंचायत का है। बता दें, यहां भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई लगातार जारी है। इससे पहले भी इसी मामले में डीएम ने दानापुर की मनरेगा कार्यक्रम पदाधिकारी को बर्खास्त कर दिया था। हालांकि, इस मामले में कनीय अभियंता और लेखापाल पर कार्रवाई नहीं हुई है, क्योंकि जांच में दोनों निर्दोष पाए गए हैं। कनीय अभियंता को शोकॉज़ किया गया था। उन्होंने सफाई पेश करते हुए कहा था कि मेरा फर्जी हस्ताक्षर कर राशि उड़ा लिए गए हैं।
आपको बता दें, गंगहरा पंचायत में कुल 17 योजनाओं में पौधरोपण कार्यक्रम संचालित किया गया था। इसके लिए 16 लाख 37 हजार रुपये आवंटित किया गया था। वहीं, इन योजनाओं के तहत खर्च होने वाली राशि के हेराफेरी का मामला सामने आया था, जिसके बाद इस मामले की 1 दिसंबर 2021 को जिलास्तरीय कमेटी ने जांच की थी, जिसमें राशि गबन की पुष्टि हुई। इस मामले में तत्कालीन मनरेगा कार्यक्रम पदाधिकारी वीणा कुमारी को डीएम ने बर्खास्त कर दिया था। जबकि कनीय अभियंता, लेखापाल और पंचायत तकनीकी सहायक पर प्रशासनिक कार्रवाई को लेकर डीडीसी के यहां सुनवाई चल रही थी। इस दौरान पंचायत तकनीकी सहायक का दोष साबित हो गया और उसे बर्खास्त कर दिया गया। बता दें, पिछले दिनों ही पंचायत तकनीकी सहायक संजीत कुमार का दानापुर से फुलवारी शरीफ प्रखंड में ट्रांसफर हुआ था।
ये सुनकर आपको भी हैरानी होगी कि ये पहली बार नहीं हुआ है जब दानापुर की मनरेगा की पूर्व कार्यक्रम पदाधिकारी वीणा कुमारी को बर्खास्त किया गया हो। इससे पहले भी उन्हें योजना के क्रियान्वयन में दोहरे भुगतान, सरकारी राशि के गबन और मनरेगा मार्गदर्शिका का उल्लंघन करने के आरोप में 24 जनवरी 2014 को तत्कालीन डीएम ने बर्खास्त कर दिया गया था, लेकिन बाद में उन्हें फिर बहाल कर दिया गया था।