देखिए नीतीश राज में क्या औकात है BJP नेताओं की, बिजली के लिए DM को फोन किया तो तू तड़ाक कर कहा - दंगा के केस में जेल भेज देंगे

SASARAM : बिहार बीजेपी के बड़े नेता है भले ही इस बात पर इतराते हो कि सूबे में उनकी सरकार है लेकिन उनकी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं की हैसियत अपनी ही सरकार में चवन्नी छाप बनकर रह गई है। बीजेपी के बूते सरकार चला रहे हैं नीतीश कुमार के अधिकारी भाजपा के प्रमुख नेताओं को भी औकात बता रहा है।  ताजा मामला सासाराम से सामने आया है जहां बीजेपी के जिला महामंत्री संदीप सोनी को जिलाधिकारी को फोन कर भारी पड़ गया। बिजली नही कहने के कारण भाजपा नेता की बीमार बेटी तड़प रही थी, मजबूरी में DM को कॉल किया तो नौकरों से भी बदतर सलूक किया गया। 

डीएम को फोन करना पड़ा भारी
संदीप सोनी का कसूर केवल इतना था कि उसने बिजली आपूर्ति बाधित होने पर डीएम साहब को फोन मिला दिया। दरअसल 10 सितंबर को ताजिया जुलूस निकलने के कारण सासाराम में बिजली सप्लाई बंद की गई थी। प्रशासन की तरफ से दी गई जानकारी में कहा गया था कि रात 8 बजे तक बिजली आपूर्ति बाधित रहेगी लेकिन रात के 10 बजे तक बिजली नहीं आई तो संदीप सोनी ने मोहर्रम कमेटी से लेकर बिजली विभाग के अधिकारियों तक से बात की। कोई संतोषजनक जवाब नहीं मिला तो संदीप सोनी ने जिलाधिकारी को फोन लगा दिया। खुद को बीजेपी का जिला महामंत्री बताते हुए संदीप सोनी ने जैसे ही बिजली सप्लाई शुरू करने की बाबत चर्चा की डीएम साहब फोन पर बरस पड़े। साफ कह दिया कि बीजेपी-तीजेपी को बुरी तरह टूट पड़े। DM साहब ने जैसे ही BJP का नाम सुना वैसे ही तू-तड़ाक पर उतर आए। कहा- अगली बार फोन किया तो दंगा भड़काने के मामले में सीधे जेल भेज देंगे। संदीप सोनी डीएम साहब की बात सुनकर अवाक रह गए। फर्स्ट बिहार झारखंड से बातचीत में संदीप बताते हैं कि उन्होंने डीएम साहब के बर्ताव के बारे में अपनी पार्टी के बड़े नेताओं को जानकारी दी है। डिप्टी सीएम सुशील मोदी को पत्र लिखकर सारी बात से अवगत कराया है। उनके और डीएम साहब के बीच फोन पर हुई बातचीत का ऑडियो क्लिप भी दिया है लेकिन सरकार में शामिल होने के बावजूद बीजेपी नेताओं को पार्टी का नाम लेकर जलील किया जा रहा है।

हम आपको बता दें कि किसी जिले में भाजपा के सिर्फ दो महामंत्री होते है। पार्टी के प्रमुख नेता को ही ये जिम्मेवारी वाला पद दिया जाता है। बीजेपी के प्रमुख नेता से DM का बर्ताव ये बताने के लिए काफी है कि बिहार की सरकार में भाजपा की हैसियत क्या है। हैरानी की बात ये की भाजपा नेता ने अपने डिप्टी सीएम सुशील मोदी को इसकी जानकारी दी तो वे भी चुप्पी साध गए। वैसे भी सुशील मोदी पर नीतीश कुमार का आदमी होने का आरोप लगता रहा है। 

धमकी देकर अनजान बने डीएम साहब
फर्स्ट बिहार झारखंड ने संदीप सोनी के आरोपों पर जिलाधिकारी पंकज दीक्षित से बात की तो उन्होंने इस सारे मामले से खुद को अनजान बताया डीएम ने कहा कि उनसे हर दिन सैकड़ों लोग फोन पर बात करते हैं लिहाजा उन्हें इस बारे में कुछ भी याद नहीं। फर्स्ट बिहार झारखंड में डीएम साहब को खास तौर पर यह याद दिलाया कि बीजेपी के जिला महामंत्री ने बिजली आपूर्ति बाधित रहने के मामले में उनसे बात की थी लेकिन डीएम पंकज दीक्षित कुछ भी याद रहने से मना कर दिया। 

तो क्या नीतीश शासन में यही है बीजेपी नेताओं की औकात ?
सासाराम बीजेपी के जिला महामंत्री संदीप सोनी के साथ यह घटना 10 सितंबर को हुई थी। 15 से 17 सितंबर के बीच उन्होंने प्रदेश स्तर के नेताओं को अपने साथ हुई इस घटना के बारे में लिखित जानकारी दी लेकिन सब के सब चुप हैं। यह सभी को पता है कि नीतीश शासन में अधिकारियों की तूती बोलती है लेकिन नीतीश कुमार को सत्ता की गद्दी पर बिठाए रखने वाली बीजेपी के नेता और कार्यकर्ता भी अब यह समझने लगे हैं कि उनकी औकात दरअसल चवन्नी से ज्यादा नहीं है।