DESK: बुजुर्ग और लकवाग्रस्त मां को जिंदा कब्र में दफनाने जा रहे एक कलयुगी बेटे को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। फिलहाल पुलिस आगे की कार्रवाई में जुटी है। बताया जाता है कि उसकी बूढ़ी मां करीब 10 साल से बीमार है। लकवा मारने की वजह से वो चलने-फिरने से भी लाचार है। मां की बीमारी से वो काफी परेशान रहता था। वो आर्थिक तंगी से जुझ रहा था।
पेशे से मजदूर गैब्रियल लाकरा असम के तिनसुकिया में चाय के बागान में मजदूरी कर किसी तरह जीवन यापन कर रहा था और मजदूरी में मिले पैसों से मां का इलाज करता था। उसकी आर्थिक स्थिति बहुत ही खराब हो गयी थी एक दिन उसने घर के पीछे बड़ा गड्ढा कर दिया और उस गड्ढे में मां बुधनी लाकरा को जिंदा दफनाने का प्लान बना लिया। जब वो घर से मां को घर के पीछे ले जा रहा था तब पड़ोसियों की उस पर नजर गयी। पड़ोसियों को गैब्रियल लाकरा की हरकत कुछ ठीक नहीं लगी उन्होंने इस बात की सूचना पुलिस को दे दी।
गनीमत थी कि सूचना मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंच गयी। पुलिस को देख ग्रामीण भी वहां पहुंच गये तब देखा कि शख्स ने गड्ढा पहले से खोद रखा था और उसके अंदर जिंदा मां को उसमें दफनाने जा रहा था। तभी अपने सामने पुलिस और लोगों को देख वो भागने लगा। पुलिस ने उसे दबोचा और लोगों की मदद से बुजुर्ग महिला को गड्ढे से बाहर निकाला। पुलिस ने देखा कि वृद्ध महिला की सांसें चल रही है जिसके बाद स्थानीय लोगों ने उन्हें अस्पताल में एडमिट कराया। जहां उनकी हालत गंभीर बनी हुई है उन्हे आईसीयू में रखा गया है।
उधर पुलिस ने आरोपी कलयुगी बेटे को गिरफ्तार कर थाने ले गयी। पुलिस ने उससे पूछा कि वो ऐसा क्यों करने जा रहा था? तब महिला के बेटे ने कुछ भी जवाब नहीं दिया उसे अपनी हरकतों पर पछतावा हो रहा था। वही स्थानीय लोगों का कहना था कि महिला का बेटा चाय के बागान में मजदूरी करता है। कम पैसे कमाने की वजह वह परेशान रहता था। मां के इलाज में सारा पैसा खर्च कर चुका था। इलाज कराते-कराते वो काफी थक चुका था। इसलिए किसी तरह से छुटकारा पाना चाहता था।