बिहार के सभी डॉक्टरों और कर्मचारियों की छुट्टी 5 अप्रैल तक रद्द, होली में कोरोना का खतरा

बिहार के सभी डॉक्टरों और कर्मचारियों की छुट्टी 5 अप्रैल तक रद्द, होली में कोरोना का खतरा

PATNA :  इस वक्त एक बड़ी खबर सामने आ रही है. बिहार में होली के कारण लोगों को अलर्ट किया जा रहा है. होली में कोरोना संक्रमण बढ़ने की आशंका व्यक्त की गई है. इसे देखते हुए बिहार सरकार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने एक बड़ा बयान दिया है. हेल्थ मिनिस्टर ने कहा है कि बिहार में कोरोना के बढ़ते खतरे को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टरों और सभी कर्मचारियों की छुट्टी रद्द कर दी गई है.


बिहार सरकार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि होली में कोरोना का खतरा बढ़ सकता है. ऐसे में 5 अप्रैल तक स्वास्थ्य विभाग के सारे कर्मचारियों की छुट्टी रद्द की गई है. साथ ही मंगल पांडेय ने ये भी कहा कि 1 अप्रैल से 45 वर्ष से ऊपर के लोगों को कोरोना का टीकाकरण किया जायेगा. बिहार सरकार की ओर से इसकी भी तैयारी पूरी कर ली गई है.


आपको बता दें कि पटना के एनएमसीएच स्थिति पैथोलॉजी विभाग के एक डॉक्टर भी कोरोना संक्रमित पाए गए हैं. इसके पहले शिशु रोग विभाग के 4 डॉक्टर और 2 नर्स संक्रमित हो चुके हैं. अस्पताल के अधीक्षक डॉ विनोद कुमार सिंह के मुताबिक एक और डॉक्टर की जांच रिपोर्ट पॉजिटिव हुई है. इनके पॉजिटिव पाए जाने के बाद पैथोलॉजी डिपार्टमेंट के अन्य डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों की जांच कराई जा रही है.


एनएमसीएच में नीतू और पीकू में मरीजों की भर्ती फिलहाल रोक दी गई है. यहां जिनमें बच्चों का इलाज चल रहा था, उन्हें दूसरे अस्पतालों में शिफ्ट किया गया है. अस्पताल अधीक्षक का कहना है कि अब होली के बाद ही इन दोनों डिपार्टमेंट ओं में मरीजों की भर्ती होगी. हालांकि शिशु रोग विभाग का ओपीडी सामान्य तरीके से काम कर रहा है.


स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव प्रत्यय अमृत ने कहा है कि बिहार में हर दिन लाखों की तादाद में करुणा टेस्टिंग की जा रही है, इसमें 70 फ़ीसदी जांच RT-PCR और ट्रू नेट के जरिए हो रही है. आरटीपीसीआर और ट्रू नेट से जांच की संख्या बढ़ाकर हर दिन 44500 कर दिया गया है. अब तक बिहार में दो करोड़ 33 लाख लोगों की कोरोना वायरस चुकी है और यहां रिकवरी रेट 99.06 फ़ीसदी है, जो कि राष्ट्रीय औसत 95.28 फ़ीसदी से ज्यादा है.