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1st Bihar Published by: First Bihar Updated Wed, 26 Mar 2025 02:45:50 PM IST
पटना में बंदरों का आतंक - फ़ोटो Google
Bihar News : बिहार की राजधानी में बंदरों ने आतंक मचाकर रखा हुआ है. अब तक 4 लोगों ने इन बंदरों के हमले में अपनी जान गवा दी है. जबकि 100 से ज्यादा लोग घायल हो चुके हैं. पटना सिटी के इलाके के करीब 12 मोहल्लों के लोग अब खौफ में जी रहे हैं, वहीं इन लोगों ने बंदरों के डर से अपनी बालकनी और छत को लोहे के जाल से घेर लिया है, मानो किसी पिंजरे में रह रहे हों. हालत ऐसी है कि इलाके के लोग अब छत पर चढ़ने से भी कतराने लगे हैं, क्या पता कब कोई बंदर उन्हें अपना शिकार बना ले.
वन विभाग की कोशिश गई बेकार
कुछ समय पूर्व गुरु गोविंद सिंह जी के 350 प्रकाश वर्ष से पहले जिला प्रशासन और वन विभाग ने मिलकर एक अभियान चलाया था. जिस दौरान कई बंदरों को पकड़ा गया. मगर आज स्थिति उससे भी बुरी हो चुकी है. बताया जा रहा है कि तब से लेकर अब तक इन बंदरों की संख्या में करीब 5 गुणा इजाफा हो चुका है. जो कि वाकई में चिंता का विषय है. लोग अब सब्जी या फल लेकर बाजार से आने में भी डरने लगे हैं.
रुपए के बंडल भी नहीं बख्शते
ये बंदर इतने चालाक हैं कि लोगों के सामान पलक झपकते ही लेकर फरार हो जाते हैं. इससे पहले कि लोग यह समझ पाएं कि उनके साथ क्या हुआ है, बंदर उनकी पहुंच से बाहर चले जाते हैं. यही नहीं गुरूद्वारे में आने वाले कई श्रद्धालुओं को भी बंदरों ने अपना शिकार बनाया है. कुछ वर्ष पहले तो इन बंदरों ने एक कारोबारी से रुपए का बंडल तक छीन लिया था. वर्ष 2015 में एक पुजारी की उस वक्त मौत हो गई, जब एक बंदर ने दीवार की ईंट उसके सिर पर गिरा थी थी.
फिर से लिखा जाएगा वन विभाग को पत्र
कई लोग तो ऐसे भी हैं जो बंदरों के खौफ से भागे और इसी क्रम में छत से गिरकर अपनी हड्डी तुड़वा बैठे या फिर बुरी तरह से घायल हो गए. बड़ी बड़ी इमारतों में रहने वाले लोग भी इन बंदरों से सुरक्षित नहीं हैं. ये बंदर बालकनी या लिफ्ट के स्पेस के जरिए अंदर बरामदे में प्रवेश कर जाते हैं और फिर जमकर उत्पात मचाते हैं. इन बंदरों का आतंक विशेषकर पटना सिटी और अजीमाबाद के इलाकों में है. जहाँ लोग रोज खौफजदा होकर जीने को मजबूर हैं. इस बारे में बात करते हुए पटना सिटी के एसडीओ का कहना है कि वे जल्द ही वन विभाग के अधिकारियों को पत्र लिखेंगे ताकि इन बंदरों को पकड़कर जल्द से जल्द जैविक उद्द्यान में डाला जाए और लोग आजादी से जी सकें.