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04-Apr-2022 08:45 PM
PATNA: बिहार में अब अगर पहली दफे शराब पीकर पकड़े जायेंगे तो सिर्फ दो से पांच हजार रूपये जुर्माना देकर ही छूट देंगे. नीतीश सरकार ने आज कैबिनेट की बैठक में इसकी नियमावली को मंजूरी दे दी. सरकार ने कुछ दिन पहले ही विधान मंडल से शराबबंदी कानून में संशोधन पास कराया था. कानून में संशोधन कर ये फैसला लिया जायेगा कि पहली दफा शराब पीने वालों को सरकारी मजिस्ट्रेट के पास पेश कर जुर्माना लेकर छोड दिया जायेगा.
कैबिनेट की बैठक में आज उसके लिए नियम तय कर लिये गये. सरकार ने तय किया है कि पहली दफे शराब पीते पकड़े गये व्यक्ति को मजिस्ट्रेट के पास पेश किया जायेगा, जहां दो हजार से पांच हजार के बीच जुर्माना लेकर उसे छोड़ दिया जायेगा. लेकिन सरकार ये भी कह रही है कि मजिस्ट्रेट के पास जुर्माना देकर छूटने का अधिकार हरेक व्यक्ति को नहीं होगा.
ये सरकार और पुलिस तय करेगी कि किस व्यक्ति को मजिस्ट्रेट के पास पेश कर सिर्फ जुर्माना लेकर छोड़ दिया जाये. वहीं, अगर पहली दफे के बाद कोई दूसरी दफे पकड़ा जाता है तो उसे जेल जाना होगा औऱ उसके लिए दस साल की सजा का प्रावधान होगा।
जुर्माना नहीं दिया तो जेल
वैसे सरकार ने ये भी प्रावधान किया है कि अगर किसी ने मजिस्ट्रेट द्वारा तय जुर्माने की राशि नहीं भरी तो उसे एक महीने के जेल की सजा दी जायेगी. बता दें कि दो दिन पहले ही सरकार ने सूबे के सभी जिलों में उन मजिस्ट्रेट के नाम तय किये थे जो शराब मामलों की सुनवाई करेंगे. उन्हें शराब के मामलों की सुनवाई के लिए न्यायिक शक्तियां दी गयी थी।
सरकार ने सारी कवायद सुप्रीम कोर्ट की तगड़ी फटकार के बाद लगायी थी. दरअसल बिहार के सारे कोर्ट शराब के मामलों की सुनवाई में लगे थे. हाईकोर्ट में 16 जज शराब के मामलों की सुनवाई कर रहे थे. सुप्रीम कोर्ट ने सरकार से पूछा था कि उसने कौन सी योजना बनाकर शराबबंदी कानून बनाया था. इसके बाद नीतीश सरकार ने आनन फानन में शराबबंदी कानून बदला. सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को कहा था कि वह कानून में संशोधन करने जा रही है इसलिए कोर्ट इस मामले की सुनवाई कुछ दिनों के लिए टाल दे।