BUXAR : कोरोना जैसी वैश्विक महामारी के कारण इंडिया में 3 मई तक लॉक डाउन की घोषणा की गई है. बिहार में कुछ ऐसी घटनाएं सामने आ रही हैं, जिन्होंने सोशल डिस्टेंसिंग और लॉक डाउन की धज्जियां उड़ा के रख दी है. ताजा मामला बक्सर जिले का है. जहां सत्तारूढ़ जेडीयू के जिला उपाध्यक्ष रवि राज ने भीड़ जुटाकर बक्सर के जिला प्रशासन को अपने से नीचा दिखाने की कोशिश की है. बक्सर जिला प्रशासन की भूमिका पर भी कई एक सवाल खड़ा होते हैं. जिस जिले में दुगनी रफ़्तार से कोरोना का संक्रमण फ़ैल रहा है, ऐसे हालात में आखिर कैसे प्रशासन के नाक के नीचे सैकड़ों लोग इकठ्ठा हो जा रहे हैं.
कहां थी बक्सर प्रशासनिक टीम
बक्सर जिला प्रसाशन की टीम के आंखों के सामने आखिर सही समय पर ये भीड़ का मजमा क्यों नहीं दिखाई दिया. बक्सर से जो तस्वीरें सामने आई हैं, वह इस बात की गवाही बन रही हैं कि बक्सर की प्रशासनिक टीम जिले के अंदर कोरोना के 10 पॉजिटिव मामले सामने आने के बाद जमीनी स्तर पर क्या काम कर रही है.
दरअसल बात ये है कि लॉक डाउन के बावजूद भी जिले के नगर थाना अंतर्गत पिपरपाती रोड पर आज दोपहर में अचानक सैकड़ों लोग जमा हो गए. क्योंकि बक्सर के जेडीयू जिला उपाध्यक्ष रवि राज राशन बांटने के चक्कर में महामारी एक्ट की धज्जियां उड़ा रहे थे.
जेडीयू नेता पर केस
इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद आनन-फानन में जिला की टीम पुलिसवालों के साथ पहुंची. जिसे देखते ही लोग भागने लगे. इतना ही नहीं राशन बांटकर वोट बैंक बना रहे पूर्व लोकसभा उम्मीदवार और जदयू नेता रवि राज भी भाग निकले. बक्सर के अनुमंडल पदाधिकारी कृष्ण कुमार उपाध्ययाय ने फर्स्ट बिहार की टीम को फोन पर जानकारी दी कि आरोपी जेडीयू नेता के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने की तैयारी की जा रही है. सरकार की ओर से लागू महामारी एक्ट के अनुसार जेडीयू के जिला उपाध्यक्ष रवि राज के ऊपर प्राथमिकी दर्ज की जा सकती है.