PATNA : बिहार विधानसभा में जिस विधेयक को पास कराने को लेकर भारी बवाल हुआ था और स्पीकर को बंधक बनाए जाने से लेकर विपक्षी विधायकों की विधानसभा पोर्टिको में जबरदस्त पिटाई देखने को मिली थी, अब उसी विधेयक को सरकार ने कानून के शक्ल में लागू कर दिया है. जी हां, बिहार में सशस्त्र पुलिस बल विधेयक लागू कर दिया गया है. गृह विभाग ने इसे लागू करने से संबंधित अधिसूचना जारी कर दी है.
आपको बता दें कि बिहार में विशेष सशस्त्र पुलिस अब किसी भी संदिग्ध की तलाशी के साथ-साथ जब्ती और गिरफ्तारी का अधिकार रखेगी. फिलहाल इस बल को बोधगया स्थित महाबोधि मंदिर और दरभंगा एयरपोर्ट की सुरक्षा में तैनात किया जाएगा.
BSAP को कई तरह के विशेष अधिकार इस कानून के तहत दिए गए हैं. विशेष सशस्त्र पुलिस किसी भी संदिग्ध की तलाशी ले सकेगा और उसके गिरफ्तारी के बाद कार्रवाई के लिए उसे संबंधित थाने को सौंप देगा.
इस विशेष सशस्त्र पुलिस को यह अधिकार होगा कि वह अपराध रोकने के लिए संदेह के आधार पर किसी व्यक्ति की तलाशी ले और गिरफ्तारी कर पाए. प्रतिष्ठानों की सुरक्षा में तैनात अधिकारी बिना वारंट और मजिस्ट्रेट की अनुमति के किसी संदिग्ध को गिरफ्तार करने का अधिकार रख पाएंगे. सरकार ने यह विधेयक बिहार सैन्य पुलिस यानी बीएमपी को स्वतंत्र अस्तित्व देने के लिए पारित कराया था. इसे लेकर विधानसभा में भारी बवाल भी हुआ था.
हालांकि राज्य सरकार ने फिलहाल दो महत्वपूर्ण जगहों पर ही इस विशेष सशस्त्र पुलिस बल को तैनात करने का निर्णय लिया है. लेकिन आने वाले वक्त में राज्य के अन्य हवाई अड्डों, मेट्रो स्टेशनों, ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व के भवनों की सुरक्षा की जिम्मेदारी इस पुलिस बल को दी जा सकती है. केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल की तर्ज पर ही इसकी भूमिका सरकार तय करना चाहती है. लेकिन इसे जो अधिकार दिए गए हैं, उसको लेकर विपक्ष सवाल उठाता रहा है.