बिहार के लिए बड़ी खबर: सूबे में दो स्पेशल इकोनॉमिक जोन बनाने बनाने पर केंद्र सरकार सहमत, बड़े पैमाने पर निवेश और रोजगार मिलेगा

बिहार के लिए बड़ी खबर: सूबे में दो स्पेशल इकोनॉमिक जोन बनाने बनाने पर केंद्र सरकार सहमत, बड़े पैमाने पर निवेश और रोजगार मिलेगा

PATNA: बिहार में पूंजी निवेश और उद्योग लगाने के लिए कवायद कर रही राज्य सरकार को बड़ी सफलता मिली है. केंद्र सरकार बिहार में दो स्पेशल इकोनॉमिक जोन यानि SEZ बनाने पर सहमत हो गया है. बिहार के उद्योग और पर्यटन मंत्री नीतीश मिश्रा ने इसके लिए पहल की थी. नीतीश मिश्रा की मांग पर केंद्र सरकार ने सर्वे कराया है और राज्य में दो SEZ बनने का रास्ता साफ होता दिख रहा है. केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने पत्र लिख कर इसकी जानकारी दी है.


बता दें कि निर्यात को बढ़ावा देने के लिए सरकार की ओर से स्थापित किए जाने वाले आर्थिक क्षेत्रों को स्पेशल इकॉनामिक जोन यानि SEZ कहा जाता है. भारत सरकार ने 2005 में स्पेशल इकॉनामिक जोन बनाने की शुरुआत की थी. इसके तहत देश के कई राज्यों में SEZ बनाये जा चुके हैं. लेकिन बिहार में इसकी दूर-दूर तक कोई संभावना नहीं दिख रही थी. SEZ  से होने वाले निर्यात होने वाले सामान पर कस्टम ड्यूटी, एक्साइज ड्यूटी, आयकर , मिनिमन अल्टरनेट टैक्स, डिविडेंड डिस्ट्रीब्यूशन टैक्स कुछ भी नहीं लगता. लिहाजा उद्योगपति वहां निवेश करने को ज्यादा इच्छुक होते हैं.


नीतीश मिश्रा ने की थी मांग

पिछले 17 जून को ही बिहार के उद्योग और पर्यटन मंत्री नीतीश मिश्रा ने केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल से मुलाकात कर बिहार में दो जगहों पर SEZ बनाने की मांग की थी. मंत्री को दिये गये ज्ञापन में नीतीश मिश्रा ने कहा था कि बिहार में 2 विशेष आर्थिक क्षेत्र (SEZ) की स्थापना से आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेग,  पूंजी का निवेश होगा और लोगों को रोजगार मिल सकेगा. बिहार, में प्रचुर मानव संसाधन है. दूसरे कई कारण हैं जिसके कारण इस राज्य के आर्थिक विकास की अपार संभावनाएँ हैं. लेकिन इसके बावजूद राज्य को महत्वपूर्ण निवेश आकर्षित करने और अपनी पूरी आर्थिक क्षमता को साकार करने में कठिनाई हो रही है. SEZ की स्थापना से बिहार को काफी लाभ हो सकता है.


दो स्थानों पर SEZ बनाने का प्रस्ताव

बिहार के उद्योग और पर्यटन मंत्री ने पश्चिम चंपारण औऱ बक्सर में SEZ बनाने का प्रस्ताव दिया था. बिहार सरकार ने कहा था कि पश्चिम चंपारण के कुमारबाग में राज्य सरकार ने करीब 337 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया है. इस स्थान का प्रमुख भारतीय शहरों के साथ साथ नेपाल के साथ भी कनेक्टिविटी है. वहीं, बक्सर के नावानगर में भी राज्य सरकार SEZ के लिए जमीन देने को तैयार है. नावानगर का लोकेशन भी बेहतर है और यह अमृतसर-कोलकाता औद्योगिक कॉरीडोर के बहुत करीब है.


केंद्र सरकार ने दी स्वीकृति

अब केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने बिहार में SEZ बनाने को लेकर केंद्र की सहमति दे दी है. पीयूष गोयल ने बिहार के उद्योग औऱ पर्यटन मंत्री नीतीश मिश्रा को लिखे गये पत्र में कहा है कि बिहार सरकार ने जिन दो जगहों पर SEZ बनाने का प्रस्ताव दिया था, इसका निरीक्षण किया गया था और यह पाया गया है कि दोनों साइट प्रस्तावित SEZ विकसित करने के लिए सही हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा है कि इन दोनों जगहों पर जमीन को लेकर कुछ जरूरी कागजात अभी भी बिहार औद्योगिक क्षेत्र विकास प्राधिकरण यानि BIADA से मिलना बाकी है.


केंद्रीय मंत्री ने अपने पत्र में कहा है कि BIADA जरूरी कागजातों की व्यवस्था करने में लगा है. जैसे ही ये दस्तावेज मिल जाते हैं वैसे ही वहां SEZ लगाने का फाइनल प्रस्ताव भेजा जायेगा. जाहिर है केंद्र सरकार ने बिहार में दो SEZ बनाने पर सैंद्धांतिक तौर पर सहमति जता दी है.


बिहार के उद्योग मंत्री नीतीश मिश्रा ने केंद्र सरकार के इस फैसले को ऐतिहासिक करार दिया है. उन्होंने कहा है कि बिहार में SEZ बनने से नये युग की शुरूआत होगी. देश-विदेश की बडी कंपनियां यहां निवेश करने आयेंगी और बड़े पैमाने पर रोजगार मिलेगा. नीतीश मिश्रा ने इसके लिए केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल का आभार जताया है.