ARRAH: फर्स्ट बिहार की खबर का एक बार फिर बड़ा असर हुआ है। केस मैनेज करने के बदले फोन पर पैसे की डिमांड करने वाले गीधा थाने के दो दारोगा को तत्काल प्रभाव से निलंबित किया गया है। अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी-2 की जांच रिपोर्ट के बाद भोजपुर पुलिस अधीक्षक मिस्टर राज ने दोनों दारोगा उमाशंकर सहनी और सुबोध पासवान को सस्पेंड कर दिया। निलंबन अवधि में दोनों पुलिस पदाधिकारियों का मुख्यालय पुलिस केंद्र आरा किया गया है।
बता दें कि बीते दिनों भोजपुर जिले गिद्दा थाने के दो दारोगा उमाशंकर सहनी और सुबोध पासवान का ऑडियो वायरल हुआ था। जिसमें दारोगा द्वारा आफताब नामक कपड़े के दुकानदार से किसी केस को रफा-दफा करने को लेकर पैसे की मांग की जा रही थी। वहीं दूसरी ओर दारोगा सुबोध पासवान द्वारा आफताब से हथियार मांगा जा रहा था और पैसे की भी डिमांड की जा रही थी। इस खबर को फर्स्ट बिहार ने प्रमुखता से प्रसारित किया था। जिसके बाद भोजपुर पुलिस अधीक्षक मिस्टर राज ने जांच अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी-2 को मामले की जांच का आदेश दिया था जिसके बाद जांच रिपोर्ट आने के बाद एसपी ने दोनों दारोगा को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया।
इस वायरल ऑडियो में साफ तौर से सुना जा सकता है कि कैसे मर्डर केस को मैनेज करने के लिए पैसे की डिमांड की गयी। जिसमें दारोगा उमाशंकर सहनी यह स्वीकारते हुए युवक से कह रहा है कि तुमने मुझे बहुत जींस पहनाया है। तुम्हारे लिए हम इतना बड़ा रिस्क लिए है। तुम हमको फंसाएगा नहीं ना। तो वहीं फोन पर बात करने वाले युवक आफताब ने कहा कि मैं वैसा व्यक्ति नहीं हूं सर जो आपको फंसा दूंगा। हालांकि इस वायरल ऑडियो की पुष्टि फर्स्ट बिहार नहीं करता है। इस मामले में पैसे के लेन-देन के बीच दारोगा ने अपने दूसरे साथी सुबोध सर का भी नाम लिया है। वायरल ऑडियो में थानाध्यक्ष उमूस सलमा का भी आवाज सुनाई दे रहा है।
दारोगा और युवक आफताब के बीच बातचीत का 3 ऑडियो क्लिप सामने आया है। पहला ऑडियो क्लिप 21 सेकंड का है दूसरा 11 सेकंड और तीसरा ऑडियो क्लिप 2 मिनट 17 सेकंड का है। पहले क्लिप में दारोगा उमाशंकर सहनी कहता है कि क्या आफताब आ गये..युवक कहता है कि आ रहे हैं सर अभी बहन के यहां पैसे के उपाय करने आए है..फिर दारोगा कहता है इधरे आ जाइएगा प्रेम जी डेरा के तरफ,तब युवक ने कहा कि मैडम से पैसा कम करवाइये..जिसके बाद दारोगा कहता है सब बात फोने पर बतियाइएगा...
दूसरे ऑडियो क्लिप 11 सेकंड का है जिसमें दारोगा कहता है कि क्या आफताब कहां तक पहुंचे आओ ना जल्दी आयो ना...वही तीसरे ऑडियो क्लिप में दारोगा कहता है कि क्या आफताब तुम्हारा तो काम हो गया अब हम बैठे की जाए ई बोलो.
आफताब-मेरा काम खत्म कर दिये है. मेरे पास 20 हजार रूपया है
उमाशंकर सहनी- सुनो ना यार ई सब बात फोन पर काहे ला बतियाता है सुनो ना तुम हमको फंसाएगा क्या रे..तु है अभी कहा ..
आफताब-नहीं सर गद्दारी नहीं करेंगे। हम अभी नया वाला घर के पास है..
उमाशंकर सहनी- अच्छा पहले पैसा लेकर सुबोध सर के डेरा पर आयो..
आफताब-सुबोध सर इतना खराब बात बोले है कि तु आ रहा है कि उठाकर लाए तुमको
उमाशंकर सहनी- सुन ना हमको निकलना है हम पूरा थक गये हैं हमको सोने जाना है...
आफताब-आधा से एक घंटे में हम आपके पास आ रहे हैं मेरा भईया आ रहा है दुकान बढ़ाकर आपके पास आ रहे हैं.
उमाशंकर सहनी-देख भाई तु फसाएगा नहीं ना..तेरा रिस्क हम लिये है।
आफताब- हम फंसाएगे नहीं सर आपको निफिक्र रहिये हम भले आपको दो चार रूपया कम देंगे लेकिन फंसाने का काम नहीं करेंगे।
उमाशंकर सहनी-हम इ सब में नहीं है भाई तू साला जिंस पहना पहना कर हमारा दिल जीत लिया।
आफताब- 10 गो स्पारकी का जिंस भेजवा दे का सर..
उमाशंकर सहनी-इसीलिए हम ज्यादा व्यक्तिगत लगाव नहीं रखते हैं यार..
आफताब- एक चीज आप लोग से सीख मिल गया कि मेरा एक पैर थाना में रहता है और एक पैर घर में रहता है। हर मैडम का काम करते थे। हम गुनाह नहीं किये है।
उमाशंकर सहनी- आज वही देन है कि आज तू पार हो रहा है। थाना पर आएंगे तो फांसी पर भी चढा देंगे तब कहेंगी कि हम गुनाह नहीं किये है। तु आयो समझाते है..नाम दे दिया तो क्या करोंगे तुमको कुछ होने नहीं ना दिये। आयो जल्द हम डेरा पर जा रहे हैं।