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ARRAH: बिहार में सरकार में आते ही 10 लाख सरकारी नौकरी, नियोजित शिक्षकों को समान वेतनमान जैसी घोषणायें करने वाले तेजस्वी यादव अब बेरोजगारों से मुंह छिपाने लगे हैं। आरा पहुंचे तेजस्वी यादव से सैकड़ों शिक्षक अभ्यर्थी मिलने की गुहार लगाते रह गये, सुरक्षा बलों ने उन्हें खदेड़ दिया। इसी बीच डिप्टी सीएम का लंबा-चौडा काफिला सायरन बजाते हुए निकल गया।
दरअसल तेजस्वी यादव आरा के प्रभारी मंत्री हैं. शुक्रवार को वे आरा में जिले में हो रहे विकास कार्यों की समीक्षा करने पहुंचे थे. तेजस्वी यादव के आने की खबर मिलने के बाद जिले के सैकडों शिक्षक अभ्यर्थी सर्किट हाउस के पास इकट्ठा हो गये थे. वे तेजस्वी यादव से मिलकर उन्हें उनके वादे की याद दिलाना चाह रहे थे. लेकिन सुरक्षा कर्मियों ने शिक्षक अभ्यर्थियों को बाहर ही रोक दिया. इसके बाद शिक्षक अभ्यर्थियों ने तेजस्वी यादव के काफिले के सामने जमकर हंगामा किया. नाराज अभ्यर्थियों ने नारेबाजी और प्रदर्शन किया।
दरअसल तेजस्वी यादव आरा सर्किट हाउस में मीटिंग कर रहे थे. बाहर में सैकड़ों शिक्षक अभ्यर्थी खड़े थे जो उनसे मिलने की मांग कर रहे थे. लेकिन मुलाकात नहीं हुई. मीटिंग खत्म होने के बाद जैसे ही तेजस्वी का काफिला बाहर निकला, अभ्यर्थियों ने प्रदर्शन शुरू कर दिया. तेजस्वी के काफिले के सामने शिक्षक अभ्यर्थियों के खड़े होने से उनका काफिला रूक गया. सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें धक्का देकर तेजस्वी यादव के काफिले को बाहर निकाला।
वादा भूल गये तेजस्वी
आरा सर्किट हाउस के गेट पर खड़े अभ्यर्थियों का कहना था कि पिछले तीन सालों से तेजस्वी यादव ये आश्वासन देते रहे हैं कि उनके सरकार में आने के बाद सबसे पहला फैसला नौकरी देने का होगा. लेकिन किसी को नौकरी नहीं मिल रही है. बिहार में सरकारी स्कूलों में बड़े पैमाने पर शिक्षकों के पद खाली हैं. सरकार को सांतवे चरण का शिक्षक नियोजन शुरू करना है।
लेकिन नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू करने में सरकार लगातार आनाकानी कर रही है. बता दें कि सांतवे चरण की बहाली शुरू करने के लिए कुछ दिनों पहले पटना में शिक्षक अभ्यर्थियों ने प्रदर्शन किया, जिसमें तिरंगा लिये एक युवक की बर्बर पिटाई की गयी थी. इसके बाद तेजस्वी यादव ने प्रेस कांफ्रेंस कर कहा था कि जल्द ही नियोजन की प्रक्रिया शुरू की जायेगी. लेकिन अब तक सरकार ने कोई प्रक्रिया शुरू नहीं की है।