असम में बीफ को बैन किए जाने पर भड़की JDU, भाजपा सरकार से इस फैसले को वापस लेने की मांग, इसे राजधर्म के खिलाफ बताया

असम में बीफ को बैन किए जाने पर भड़की JDU, भाजपा सरकार से इस फैसले को वापस लेने की मांग, इसे राजधर्म के खिलाफ बताया

PATNA: असम की हिमंत बिस्वा सरमा सरकार ने राज्य में बीफ को पूरी तरह से बैन कर दिया है। सरकार के इस फैसले से संत समुदाय में खुशी का माहौल है। देश के वरिष्ठ संत स्वामी अभिषेक ब्रह्मचारी ने असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा को इस फैसले के लिए धन्यवाद दिया है। वही बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड (JDU) ने असम में BJP सरकार के इस फैसले का विरोध किया है और इस फैसले को वापस लेने की मांग की है। जनता दल यूनाइटेड ने इसे राजधर्म के खिलाफ बताया।


असम में गोमांस पर प्रतिबंध लगाने के फैसले का NDA में विरोध होना शुरू हो गया है। बिहार में बीजेपी की सहयोगी जेडीयू ने असम सरकार के इस फैसले पर आपत्ति जतायी है। जेडीयू नेता केसी त्यागी और राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव रंजन ने इसे लेकर आपत्ति जतायी है। दिल्ली में मीडिया से बातचीत करते हुए केसी त्यागी ने कहा कि भारत का संविधान सभी को खाने-पीने की आजादी देता है। होटलों या सार्वजनिक स्थानों पर गोमांस पर रोक लगाना सही नहीं है। इसका हम समर्थन नहीं करते। देश में पहले से ही तनाव की स्थिति है ऐसे में गोमांस पर प्रतिबंध लगाने से समाज में तनाव फैलेगा। 


वही जेडीयू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव रंजन ने भी असम की बीजेपी सरकार के इस फैसले को दुर्भाग्यपूर्ण बताया। राजीव रंजन ने कहा कि लोग क्या खाएंगे और क्या पहनेंगे इससे सरकार को कोई लेना-देना नहीं होना चाहिए बल्कि लोगों को विकल्प देना चाहिए। असम सरकार का यह फैसला राजधर्म के खिलाफ है।


बता दें कि बिहार में 11 महीने से एनडीए की सरकार है। बीजेपी जनता दल यूनाइटेड के साथ मिलकर बिहार में सरकार चला रही है। ऐसा पहली बार देखा जा रहा है कि किसी बीजेपी शासित राज्य के फैसले का जेडीयू खुलकर विरोध कर रही है। असम की हिमंत बिस्वा सरमा सरकार ने बीफ को पूरी तरह से बैन कर दिया है गौमांस पर लगाए गये प्रतिबंध के खिलाफ जेडीयू सामने आ गयी है। जेडीयू नेता बीजेपी के इस फैसले को गलत बता रहे हैं। इसे राजधर्म के खिलाफ बता रहे हैं।  


वही असम सरकार के इस फैसले से संत समुदाय में खुशी का माहौल है। देश के वरिष्ठ संत स्वामी अभिषेक ब्रह्मचारी ने असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा को इस फैसले के लिए धन्यवाद दिया है। असम में बीफ को पूर्ण प्रतिबंधित किए जाने के सरकार के फैसले के पक्ष में उतरे देश के वरिष्ठ संत स्वामी अभिषेक ब्रह्मचारी ने कहा है कि देश के प्रत्येक मुख्यमंत्री को अपने राज्य में असम की तर्ज पर कानून बनाने की जरूरत है।


 स्वामी अभिषेक ब्रह्मचारी ने कहा कि धर्मसम्राट स्वामी करपात्री जी महाराज पूर्ण गौ वध के लिए लड़ते रहे और उन्हें इंदिरा गांधी सरकार की गोलियों का भी सामना करना पड़ा था। हिमंत बिस्वा सरमा ने सनातन संस्कृति की रक्षा हेतु एतिहासिक कार्य किया है। स्वामी अभिषेक ब्रह्मचारी ने कहा कि सभी धर्म के लोग अपने घरों में देसी गाय की सेवा करें और उसका दूध पियें। उन्होंने बड़ा सवाल किया कि भारत में जब गौ माता की रक्षा नहीं होगी तो क्या पाकिस्तान में होगी?