DESK: लखीमपुर खीरी हिंसा की घटना के विरोध में माओवादियों ने 17 अक्टूबर को बिहार-उत्तर प्रदेश सहित 4 राज्यों को बंद करने का ऐलान किया है। माओवादियों ने लखीमपुर खीरी की घटना को नरसंहार करार देते हुए बिहार में चल रहे पंचायत चुनाव का बहिष्कार करने का आह्वान किया है। जगह-जगह पोस्टर लगाकर माओवादियों द्वारा बंद को सफल बनाने की अपील की जा रही है। माओवादियों के बंद के ऐलान के बाद पुलिस व अर्द्धसैनिक बल अलर्ट मोड में हैं।
पोस्टर में यह लिखा गया है कि लखीमपुर-खीरी नरसंहार के खिलाफ 17 अक्टूबर को आहूत बिहार-झारखंड,उत्तरी छत्तीसगढ़ और उत्तर प्रदेश बंद को सफल बनाए। बंद को सफल बनाने के लिए स्वतंत्र पहल कदमी के साथ व्यापक संख्या में महिला,पुरुष, छात्र नौजवान आगे आएं। लखीमपुर-खीरी नरसंहार पर विचार करें फैसला लें आंदोलन को और धारदार बनाए।
पोस्टर के जरीये माओवादियों ने सरकार पर भी हमला बोला। पोस्टर पर यह लिखा कि जनता को न्यायपूर्ण आंदोलनोंं पर कहर बरपाने वाले आरएसएस, भाजपा, एबीभीपी, बजरंग दल गो रक्षा समिति नामधारी तमाम गुंडों को मुंहतोड़ जवाब देने के लिए संगठित जवाबी कार्रवाई शुरू करें और अंत में निवेदक के तौर पर भाकपा (माओवादी) लिखा हुआ है।
पोस्टर के जरीय माओवादियों ने लखीमपुर हिंसा की घटना पर सरकार को संवेदनहीन बताया। मृतक के आश्रितों को सरकारी नौकरी देने की घोषणा के बावजदू अब तक सरकारी नौकरी नहीं दी गयी। जिसका माओवादी विरोध जता रहे हैं।
गौरतलब है कि गया में सातवें चरण का मतदान नक्सल प्रभावित और अति नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में होने वाला है। 20 अक्तूबर को इसकी शुरुआत कोंच और गुरुआ प्रखंड से होने जा रही है। ये दोनों ही नक्सल प्रभावित इलाके हैं। ऐसे में माओवादियों ने लखीमपुर खीरी की घटना को नरसंहार करार देते हुए बिहार में चल रहे पंचायत चुनाव का भी बहिष्कार करने का आह्वान किया है। माओवादियों के बंद के ऐलान के बाद पुलिस व अर्द्धसैनिक बल अलर्ट मोड में हैं।