1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 21 Dec 2025 05:45:31 PM IST
ऐसे ठगों से सावधान - फ़ोटो REPORTER
MUNGER: मुंगेर में साइबर ठगों का जाल अब सेवानिवृत रेल कर्मियों तक फैल चुका है। ठग कब और किस तरह आपको अपना शिकार बना लेंगे, इसका अंदाजा भी नहीं लगेगा। पेंशन बंद होने का डर दिखाकर पीपीओ बुक अपडेट कराने के नाम पर साइबर अपराधियों ने दो रिटायर्ड रेलकर्मियों से कुल 23 लाख 43 हजार रुपये की ठगी कर ली।
सेवानिवृति पर मिली जीवनभर की जमा पूंजी लुटने से दोनों रेलकर्मी सदमे में हैं। पीड़ितों ने साइबर थाना में शिकायत दर्ज कराई है और राशि वापस दिलाने की गुहार लगाई है। मामला जमालपुर का है, जहां रेलकर्मी मनोज कुमार 30 अगस्त 2025 को सेवानिवृत हुए थे। 18 दिसंबर को उनके व्हाट्सएप पर पीपीओ फॉर्म भेजा गया। इसके बाद कॉल कर खुद को रेलवे अधिकारी बताते हुए कहा गया कि यदि फॉर्म अपडेट नहीं किया गया तो पेंशन बंद हो जाएगी। ठगों के झांसे में आकर मनोज कुमार ने यूपीआई से जुड़ी जानकारी साझा कर दी।
इसके बाद उनके मोबाइल पर आने वाले ओटीपी हासिल कर ठगों ने एक ही दिन में 11 ट्रांजेक्शन के जरिए 22 लाख 55 हजार रुपये उनके एसबीआई खाते से निकाल लिए। इसी तरह एक अन्य रिटायर्ड रेलकर्मी गजेंद्र साह के अकाउंट से ठगों ने 88 हजार 196 रुपये उड़ा लिए। अब सभी एसपी के पास पहुंच गुहार लगा रहे है । सबसे बड़ा सवाल यह है कि हाल ही में सेवानिवृत हुए कर्मचारियों की पूरी जानकारी साइबर ठगों तक कैसे पहुंच रही है।
सूत्रों की मानें तो कई स्तरों पर मिलीभगत के जरिए विभागीय डाटा लीक हो रहा है, जिसका फायदा उठाकर ठग पेंशन बंद होने का भय दिखा रहे हैं। हैरानी की बात यह भी है कि एक ही दिन में बार-बार 4.99 लाख रुपये के ट्रांजेक्शन होने के बावजूद बैंक स्तर पर कोई रोक नहीं लगी। मुंगेर एसपी सैयद इमरान मसूद ने बताया कि साइबर ठग इन दिनों रिटायर्ड रेलकर्मियों को पेंशन बंद होने का डर दिखाकर ठगी कर रहे हैं।
पीड़ितों के बयान पर प्राथमिकी दर्ज कर साइबर थाना पुलिस जांच कर रही है। उन्होंने सेवानिवृत कर्मियों से अपील की कि किसी भी जानकारी के लिए केवल विभागीय माध्यमों का ही सहारा लें। व्हाट्सएप या फोन पर आने वाले मैसेज को नजरअंदाज करें और बैंक या यूपीआई से जुड़ी कोई भी जानकारी किसी के साथ साझा न करें। साइबर ठगी के बढ़ते मामलों ने एक बार फिर सावधानी की जरूरत को उजागर कर दिया है। पेंशन, बैंक या यूपीआई से जुड़ा कोई भी कॉल या मैसेज आए, तो पहले उसकी सत्यता जरूर जांचें, ताकि आपकी मेहनत की कमाई सुरक्षित रह सके।
मुंगेर से इम्तियाज की रिपोर्ट