ब्रेकिंग न्यूज़

Bihar Election 2025 : 'अब बदलाव का समय, बनाना होगा नया बिहार...', बोले मुकेश सहनी - कुर्सी की लालच में बिहार को भूल गए नीतीश कुमार Bihar Election 2025 : अमित शाह की नालंदा रैली से पहले यह इलाका बना ‘नो-फ्लाई जोन’, यह शहर बना ‘रेड जोन’ Bihar News: 12 साल पुरानी फाइलें बंद...अधिकारियों को मिली राहत, बिहार सरकार ने एक झटके में 17 अफसरों को दे दी क्लीनचिट BIHAR NEWS : पश्चिम चंपारण में दो अलग-अलग सड़क हादसों में दो की मौत, बगहा क्षेत्र में छाया मातम Bihar Police : PMCH से इलाज के दौरान कैदी फरार, बाथरूम की खिड़की तोड़कर दिया पुलिस को चकमा; मची अफरातफरी मुख्यमंत्री की वैकेंसी ! नीतीश कुमार को फिर से CM की कुर्सी मिलेगी ? दरभंगा में 'अमित शाह' ने कर दिया क्लियर...जानें Bihar News: बिहार में सेमीकंडक्टर क्लस्टर और डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर का होगा निर्माण, लाखों युवाओं को मिलेगा रोजगार Asaram News : जेल से बाहर आएंगे आसाराम, हाईकोर्ट से मिली मंजूरी; जानें किस ग्राउंड पर मिली राहत BIHAR NEWS : मातम में बदली शोक यात्रा, अंतिम संस्कार से लौटते समय ट्रैक्टर पलटा; एक की मौत, पांच बच्चे घायल Bihar crime : असामाजिक तत्वों ने पेट्रोल पंप पर खड़ी तीन बसों को फूंका, लाखों का नुकसान; मचा हडकंप

तेजस्वी ने 'बेरोजगारी हटाओ यात्रा' से पहले की 'दिल की बात', बिहारवासियों के नाम लिखा खुला पत्र

तेजस्वी ने 'बेरोजगारी हटाओ यात्रा' से पहले की 'दिल की बात', बिहारवासियों के नाम लिखा खुला पत्र

21-Feb-2020 07:26 PM

PATNA : बिहार विधान सभा में विपक्ष के नेता और लालू के लाल तेजस्वी यादव ने बेरोजगारी हटाओ यात्रा पर निकलने से पहले 'दिल की बात' की है। अपने फेसबुक पोस्ट पर तेजस्वी ने बिहारवासियों के नाम एक खुला पत्र लिखा है जिसमें उन्होनें विस्तार से बताया है कि आज उन्हें क्यों 'बेरोजगारी हटाओ यात्रा' निकालने की जरूरत पड़ी है। आइए पहले आप तेजस्वी का बिहार के युवाओं के नाम लिखा पत्र पढ़ लीजिए ... 


मेरे युवा साथियों व समस्त प्रदेशवासियों,

हमारा बिहार, वही बिहार जो कभी शिक्षा का केंद्र बिंदु था आज बदहाल है। बिहार बेरोज़गारी का केंद्र बिंदु बन चुका है। 45 वर्षों बाद देश में बेरोज़गारी सबसे अधिक है। पूरे देश में बिहार की बेरोज़गारी दर 11.47% है। बिहार के युवा प्रतिभावान होने के बावजूद दूसरे प्रदेशों में मामूली मेहनताने पर छोटे-मोटे काम करने को विवश हैं। बिहार की प्रतिभा पलायन कर रही है लेकिन माननीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी चैन की बंशी बजा रहे हैं। मैं पूछता हूं कि किसी प्रदेश की दशा और दिशा बदलने के लिये और कितना वक्त चाहिये? आज पंद्रह साल हो गये बिहार में उन्हे शासन करते हुये सबसे युवा बिहार बदहाल हो गया, बेकार हो गया। आखिर कब तक हम बिहार के लोग मज़दूरी करके पेट पालते रहेंगें? इनसे हिसाब माँगों तो ये भूतकाल की बात करने लग जाते है। माननीय मुख्यमंत्री जी को समझना चाहिए के नब्बे के दौर की सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक प्राथमिकताएँ अलग थी और आज की अलग है। आप इसकी तुलना नहीं कर सकते।

जिम्मेदारियों के बोझ तले दबा बिहार का युवा हताश और निराश है। पंद्रह साल मे नीतीश कुमार जी ने बिहार के युवाओं के भाग्य में डिग्री लेकर इधर-उधर मारा-मारा फिरना लिख दिया है। बिहार शिक्षा-स्वास्थ्य के मानकों और मानव विकास सूचकांक में अभी भी पिछड़ा है। स्कूलों, कालेजों, विश्वविद्यालयों, अस्पतालों, थानों और सीओ कार्यालयों की क्या दुर्दशा हो चुकी है यह क्या किसी से छिपा है? आपकी सरकार के ही नीति आयोग के सत्तत विकास पर आँकड़े आपके दावों की धज्जियाँ उड़ा रहे है। NCRB के आँकड़े प्रदेश में बढ़े अपराध, बलात्कार और हत्याओं के आँकड़े इनके झूठे दावों की कलई खोल रहे है।

नीतीश सरकार ने 15 वर्षों में कितनी नौकरियों का सृजन किया है? बिहार के कितने करोड़ युवा बेरोज़गार है? कितने करोड़ बेरोज़गारों ने नौकरी के लिए रोज़गार कार्यालय में पंजीकरण करवाया है? इन सबका का सरकार को जवाब देना चाहिए।

यह सवाल पूछना आज हर नागरिक का कर्तव्य है। युवाओं के दम पर सरकार बनाने वाले नीतीश कुमार जी ने इन्हीं युवाओं को छला है। जो थोड़ी बहुत नौकरियाँ पनप भी रही हैं उन पर भ्रष्टाचार, भाई-भतीजावाद, जातिवाद और क्षेत्रवाद का बोल बाला है । सत्ता मे बैठे अमीर व ताकतवर लोग उन नौकरियों पर कब्जा जमा ले रहे हैं गरीब का लड़का बेकार ही रह जा रहा है। लगातार प्रश्न-पत्र लीक हो जाते है। नौकरियों की बोली लगती है।

रोजगार न मिल पाने की वजह से अवसाद में जी रहे युवाओं को आशा की किरण दिखाई नहीं दे रही है। बिहार के हर युवा को रोजगार की तलाश है ताकी वो सम्मान से जी सके। अगर यह सरकार देश में सबसे युवा आबादी वाले प्रदेश के युवाओं को रोजगार नहीं दे सकती तो इसे सत्ता में रहने का नैतिक हक भी नही है। पूरे बिहार के युवाओं को एकजुट होना होगा अपने हक की लड़ाई लड़नी होगी। अमीर-गरीब, छोटा-बड़ा का भेदभाव मिटाकर आगे आना होगा।

मैं आप सभी युवाओं, छात्रों, अभिभावकों और बिहार की समस्त जनता को आह्वान करता हूं कि आगे आईये, कदम बढ़ाईये और बिहार को बदलने की कसम खाईये। परिवर्तन ही बिहार को बचा सकता है और बना सकता है यही सोच कर बेरोज़गारी हटाओ यात्रा के माध्यम से मैं सबों के साथ मिलकर आप सब की लड़ाई लड़ने जा रहा हूं। बस अपना प्यार, स्नेह आशीर्वाद बनाये रखिये और दो कदम चल कर बिहार के भविष्य को सुनहरा बनाने की सोच को अपना समर्थन दिजीए। यह लड़ाई तब तक नही रूकेगी जब तक हर पेट को रोटी हर हाथ को काम नही मिल जाता।

जय भारत, जय बिहार।

आप सभी का भाई, बेटा

तेजस्वी यादव


तेजस्वी का लेटर पढ़ कर आप समझ ही गए होंगे कि वे क्या कहना चाहते हैं। दरअसल चुनावी मैदान में पसीना बहाने को उतरे तेजस्वी यादव नीतीश सरकार के खिलाफ कोई भी कोर कसर छोड़ना नहीं चाहते। बिहार विधानसभा चुनाव के पहले  'बेरोजगारी हटाओ यात्रा' पर निकल रहे तेजस्वी यादव को बखूबी पता है कि इस यात्रा के जरिए सरकार की ऐसी घेराबंदी करनी है जो चुनाव के मैदान में उन्हें संजीवनी दे सके।