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24-Nov-2021 09:01 AM
PATNA: बिहार में मंदिर और मठों की जमीन को लेकर नीतीश सरकार ने बड़ा फैसला किया है. प्रदेश के मठों और मंदिरों की साडे 29000 एकड़ जमीन को अब राष्ट्रीय संपत्ति घोषित करने की तैयारी है.
बता दें अवैध कब्जे वाले मठ और मंदिरों की जमीन को सरकार अतिक्रमण मुक्त कराएगी और उसे सरकारी संपत्ति का टैग दिया जाएगा. दरअसल राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग और विधि विभाग ने संयुक्त रुप से यह फैसला किया है. मंगलवार को इन दोनों विभागों के साथ बिहार राज्य धार्मिक न्यास परिषद की बैठक हुई. जिसमें यह फैसला किया गया कि मठ और मंदिरों की 29500 एकड़ जमीन को राष्ट्रीय संपत्ति यानी लोक भूमि घोषित किया जाए.
राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग में यह तय किया है कि जल्द ही मठों और मंदिरों की तरफ से बेची गई जमीन की जमाबंदी रद की जाएगी. और इसके लिए विभाग अलग से काम करेगा इतना ही नहीं बैठक में बिहार हिंदू धार्मिक न्यास पर्षद के अंतर्गत आने वाले मठ और मंदिरों की भूमि के प्रबंधन और संरक्षण के साथ-साथ उनको कैसे अतिक्रमण मुक्त रखा जाए इस पर भी चर्चा हुई.
आपको बता दें कि बिहार धार्मिक न्यास परिषद के अध्यक्ष एके जैन ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बारे में जानकारी देते हुए कहा है कि बिहार में मठ मंदिर कबीर मठ की संपत्ति में भगवान या इष्ट देव का नाम ओनरशिप में लिखा जाएगा सेवा करने वाले पुजारी का नाम अभियुक्ति कॉलम में लिखा जाएगा.
मंत्री रामसूरत राय ने स्पष्ट तौर पर कहा है कि धार्मिक मंदिरों और मठों की जमीन के जरिए जो लोग माफिया गिरी कर रहे हैं उन पर सरकार नकेल कसे. जबकि राज्य के विधि मंत्री प्रमोद कुमार के मुताबिक जल्द ही मत और मंदिरों की जमीन पोर्टल पर अपलोड कर दी जाएगी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इस पोर्टल का उद्घाटन करने वाले हैं. सरकार के इस फैसले के बाद वैसे मठाधीश और मंदिरों की संपत्ति पर कब्जा जमाए लोगों के बीच हड़कंप मचना तय है जो इसके जरिए गलत सही काम कर रहे हैं.