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Bihar News: बिहार में अब जैविक खेती की बहार, राष्ट्रीय मॉडल बने गंगा किनारे विकसित ऑर्गेनिक कॉरिडोर

Bihar News: बिहार सरकार की जैविक खेती योजना के तहत गंगा किनारे बने जैविक कॉरिडोर में 13 जिलों के 20,000 से अधिक किसान रसायन मुक्त खेती कर रहे हैं। 19,500 एकड़ से ज्यादा भूमि पर की जा रही यह पहल पर्यावरण संरक्षण और सतत कृषि का राष्ट्रीय मॉडल बन गई है।

Bihar News

20-Jun-2025 04:27 PM

By FIRST BIHAR

Bihar News: गंगा नदी के किनारे स्थित राज्य के 13 जिलों में बना जैविक कॉरिडोर राष्ट्रीय स्तर पर एक मिसाल पेश कर रहा है। इस कॉरिडोर के हजारों एकड़ जमीन पर जैविक तरीके से खेती की जा रही है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली सूबे की सरकार ने बिहार में जैविक खेती को बढ़ावा देने, गंगा और इसकी जैव विविधता के संरक्षण के लिए इस योजना को 2020 में शुरू किया था।


आज इस कॉरिडोर में खेतों से बहकर गंगा नदी में जाने वाले रसायनिक तत्वों की मात्रा में कमी आई है। गंगा के पारिस्थितिक तंत्र को होने वाला नुकसान कम होता जा रहा है। इस क्षेत्र की जैव विविधता का संरक्षण हो रहा है। किसान जहरीले रसायनों से मुक्त फसलें और कृषि उत्पाद उपजा रहे हैं। राज्य के 20,000 से ज्यादा किसान इस योजना से जुड़े हैं। इन किसानों के द्वारा करीब 19,594 एकड़ से ज्यादा जमीन पर जैविक खेती की जा रही है।


2020-21 में शुरू हुई यह योजना पूर्व में 2022-23 तक के लिए थी लेकिन इससे मिली शानदार सफलता के कारण राज्य सरकार ने इसे 2025 तक के लिए बढ़ा दिया था। योजना के तहत इस कॉरिडोर में खेती करने वाले किसानों को प्रथम वर्ष में 11,500 रुपये प्रति एकड़ अनुदान मिलता है। दूसरे और तीसरे वर्ष में मिलने वाला अनुदान 6500 रूपये प्रति एकड़ है।


कॉरिडोर में जैविक खेती को कलस्टर के रूप में बढ़ावा दिया जाता है। इससे बिहार कृषि पारिस्थितिकी प्रणाली का बेहतर प्रबंधन, मिट्टी के स्वास्थ्य और गुणवत्ता का संरक्षण, हानिकारण पदार्थों का कृषि में इस्तेमाल से परहेज कर कृषि के नए तरीके पेश कर रहा है। पर्यावरण को बिना हानि पहुंचाए कृषि कार्य का यह मॉडल पूरे देश के लिए एक मिसाल बन चुका है। 


गंगा नदी के किनारे स्थित बक्सर, भोजपुर, पटना,  नालंदा, वैशाली, सारण, समस्तीपुर, बेगूसराय, खगड़िया, लखीसराय, भागलपुर, मुंगेर और कटिहार जिले में यह जैविक कॉरिडोर बनाया गया है।