मुंगेर में चुनाव से पहले 1.72 किलो चांदी जब्त, फ्लाइंग स्क्वॉड टीम की बड़ी कार्रवाई मोतिहारी में चिकन पार्टी के बहाने युवक की हत्या, नेपाल से दो आरोपी गिरफ्तार मुंगेर में चुनाव से पहले अवैध मिनी गन फैक्ट्री का भंडाफोड़, 15 निर्मित और 8 अर्धनिर्मित पिस्टल के साथ दो गिरफ्तार जमुई में हाई-वोल्टेज ड्रामा: 80 दिन से फरार पति प्रेमिका संग घर लौटा, पहली पत्नी ने थाने में दर्ज करायी शिकायत BIHAR NEWS : रुपए के लेन-देन में महिला के सिर में मारी गोली, शव को सड़क किनारे खेत में फेंका BIHAR NEWS : सुपौल में नदी में नहाते समय किशोरी की दर्दनाक मौत, मातम का माहौल Bihar Assembly Elections : मांझी का सीट हुआ लॉक,फाइनल कर वापस लौट रहे पटना ;जल्द जारी होगा कैंडिडेट का नाम Bihar Politics OTT Series: 'बिहार से हैं क्रोमोसोम में राजनीति हैं ...', जानिए बिहार की पॉलिटिक्स को समझने के लिए क्यों देखना चाहिए यह सीरीज; क्या है खास BIHAR ELECTION : 20 रुपए में एक रसगुल्ला तो पुड़ी-सब्जी के लिए 30 रुपए हुआ तय; चुनाव आयोग ने तय कर रखा है प्रत्याशियों के खर्च की दरें Diwali 2025: दूर कर लें कंफ्यूजन! 20 या 21 अक्टूबर कब है दीपावली? जानें शुभ मुहूर्त और पूजा का सही समय
20-Jun-2025 03:10 PM
By FIRST BIHAR
Bihar News: बिहार में चुनावी हलफनामे में गलत जानकारी देना एक जनप्रतिनिधि को भारी पड़ गया। भागलपुर में वार्ड 40 के पार्षद मोहम्मद बदरूद्दीन को गलत शपथ पत्र देने और दो बच्चों के जन्म में केवल चार महीने का अंतर दिखाने के आरोप में पद से हटा दिया गया है। राज्य निर्वाचन आयोग ने इस संबंध में डीएम को निर्देश दिया है कि वे नियमानुसार कार्रवाई करें।
दरअसल, यह मामला नजमा खातून की शिकायत पर शुरू हुआ, जिन्होंने आरोप लगाया कि मो. बदरूद्दीन के पास 4 अप्रैल 2008 से पहले ही दो से अधिक संतान थीं, जो नियमों के विरुद्ध है। सुनवाई के दौरान नजमा खातून के अधिवक्ता ने अदालत को बताया कि बदरूद्दीन की कुल चार संतान हैं।
मोहम्मद बदरूद्दीन ने अपने नामांकन के दौरान जो दस्तावेज़ प्रस्तुत किए, उसमें उन्होंने केवल दो बच्चों—मो. सहवाजुद्दीन और मो. अजीजुद्दीन का उल्लेख किया। इन दोनों की जन्मतिथि क्रमशः 27 अगस्त 2007 और 1 जनवरी 2008 दिखाई गई, जिससे उनके बीच केवल चार महीने का अंतर बनता है, जो जैविक रूप से असंभव है।
सुनवाई में आधार कार्ड, जन्म प्रमाणपत्र और राशन कार्ड जैसे दस्तावेज़ प्रस्तुत किए गए, जिनसे यह प्रमाणित हुआ कि बदरूद्दीन के परिवार में चार संतानें हैं और उन्होंने जानबूझकर गलत जानकारी देकर चुनाव लड़ा हालांकि, प्रतिवादी के अधिवक्ता ने दावा किया कि अंतिम संतान की जन्मतिथि के साथ छेड़छाड़ की गई है, और रेडियोलॉजी व डेंटल विभाग की रिपोर्ट के आधार पर बच्चों की उम्र 13 और 14 वर्ष के करीब आंकी गई।
निर्वाचन आयोग ने यह निष्कर्ष निकाला कि मो. बदरूद्दीन ने 4 अप्रैल 2008 के बाद भी दो से अधिक जीवित संतानें होने की बात छुपाई और गलत शपथ पत्र देकर वार्ड पार्षद का चुनाव जीता। इस आधार पर उन्हें पदमुक्त कर दिया गया है और आगे की विभागीय कार्रवाई के आदेश दिए गए हैं।