SUPAUL: 86 सालों बाद दो भागों में विभक्त मिथिलांचल रेल मार्ग से जुड़ने जा रहा है. 18 सितंबर को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा देखे गये सपने को पीएम नरेंद्र मोदी पूरा करने जा रहे है. जिसको लेकर सुपौल स्टेशन पर व्यापक तैयारी शुरु कर दी गई है.
तैयारी पूरी
18 सितंबर को उद्धाटन के बाद कोसी रेल महासेतू पर ट्रेनों का परिचालन शुरु हो जायेगा. 2003 में पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी ने इसकी आधारशिला रखी थी. जिसमें कोसी महासेतू पर ईस्ट वेस्ट कोरिडोर योजना के तहत सङक मार्ग से जोङना भी शामिल था. लेकिन कुछ सालों बाद केंन्द्र में कांग्रेस की सरकार आ जाने के कारण कोसी महासेतू पर सङक मार्ग के उद्धाटन का मौका कांग्रेस के बङे नेताओं को मिला था और उसके बाद रेलवे का काम धीमा पड़ गया था. लेकिन 2014 में फिर से केंन्द्र में भाजपा की सरकार आने के बाद कोसी रेल महासेतू पर युद्ध स्तर पर कार्य शुरु कर दिया गया था. 18 सितंबर को कोसी रेल महासेतू के उद्धाटन को लेकर कार्यक्रम स्थल को सजाने के लिए मजदूर दिन रात काम कर रहे है. रेलवे के कई बड़े अधिकारियों के द्वारा कार्यो का जायजा लिया जा रहा है.
खुश हैं लोग
सुपौल के आम लोग भी बहुत खुश हैं. स्टेशन पर पहुंच कर तैयारी को देखने पहुंच रहे है. लोगों का कहना है 86 सालों के बाद मिथिलांचल दो भागों में विभक्त था कल से एक हो जाएगा. कल का दिन सुपौल के लिए ऐतहासिक होगा. वही, स्टेशन अधीक्षक ने कहा कि कल तो उद्घाटन होगा सभी अधिकारी स्थानीय जनप्रतिनिधि शामिल होंगे. 19 सितंबर से रोज सवारी गाड़ी का परिचालन शुरू हो जाएगा. हमलोगों के लिए बहुत ही ऐतहासिक दिन है.