अब गांव-कस्बों में भी बस स्टॉप का निर्माण, नीतीश सरकार 500 स्थायी बस स्टॉप बनवा रही

अब गांव-कस्बों में भी बस स्टॉप का निर्माण, नीतीश सरकार 500 स्थायी बस स्टॉप बनवा रही

PATNA : सूबे के गांवों और कस्बों में अब स्थायी बस स्टॉप का निर्माण कराया जा रहा है. राज्य सरकार ने 500 बस स्टॉप के निर्माण की योजना बनाई है. परिवहन विभाग में 16 जिलों में पंचायत स्तर पर बस स्टॉप के निर्माण कार्य की शुरुआत करा दी है.


सरकार की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक फर्स्ट फेज में इस साल 170 बस स्टाॅप निर्माण के लिए 38 जिलों को 3 करोड़ 23 लाख 51 हजार रुपए राशि आवंटित की गई है. परिवहन सचिव संजय कुमार अग्रवाल ने बताया कि सुरक्षित परिवहन को बढ़ावा देने  के लिए बिहार के ग्रामीण क्षेत्रों में कुल 500 बस स्टाॅप का निर्माण किया जाना है. प्रति बस स्टाॅप निर्माण पर 1 लाख 90 हजार 300 रुपए की लागत का खर्च है.


बस स्टाॅप निर्माण के बाद सार्वजनिक परिवहन की गाड़ियां निर्धारित ठहराव स्थल पर ही होगा. यात्रियों को धूप में खड़े होकर बस के आने का इंतजार नहीं करना होगा. बैठने के लिए सीमेंटेड चेयर की व्यवस्था की जाएगी. इसके अलावा सड़क सुरक्षा जागरुकता के लिए बस स्टाॅप पर आकर्षक वॉल पेंटिंग बनाई जाएगी.


वर्तमान में ग्रामीण क्षेत्रों में पर्याप्त संख्या में बस स्टॉप उपलब्ध नहीं है. बस स्टाॅप की संख्या कम होने की वजह से बसों का ठहराव निर्धारित जगह पर नहीं हो पाता है. जहां-तहां वाहनों के रुकने से यातायात की समस्या उत्पन्न होती है और सड़क दुर्घटना की भी संभावना बनी रहती है. बस ठहराव स्थल पर संरचना का निर्माण पथ निर्माण विभाग की सड़कों के किनारे उपयुक्त स्थलों पर किया जाना है. एक बस स्टाॅप का निर्माण 250 वर्गफीट जमीन पर होगा. प्रति बस स्टाॅप निर्माण कार्य पर लागत 1 लाख 90 हजार 300 रुपये का है.


पटना जिला में 19 बस स्टाॅप का निर्माण किया जाना है. पटना सदर में फुलवारी शरीफ एवं संपतचक, पटना सिटी में फतुहा, खुषरुपुर एवं दनियांवा, दानापुर में दानापुर, बिहटा एवं नौबतपुर, पालीगंज में पालीगंज, विक्रम एवं दुल्हिन बाजार, मसौढ़ी में पुनपुन, धनरुआ एवं मसौढ़ी, बाढ़ में बख्तियारपुर, अथमलगोला, बाढ़, मोकामा एवं पंडारक में बस स्टाॅप निर्माण किया जाएगा. इसके लिए प्रखंड के प्रखंड विकास पदाधिकारी को बस ठहराव स्थल के चयन एवं निर्माण कार्य हेतु कार्यकारी एजेंसी के रुप में चयनित किया गया है.


दरभंगा-29,मुजफ्फरपुर-24,पूर्वी चंपारण और मधुबनी-23-23, गया और समस्तीपुर-20-20, दरभंगा, पश्चिमी चंपारण, सारण और पटना में 19-19, सिवान और वैशाली में 17-17, नालंदा-15, रोहतास, गोपालगंज, भागलपुर, पूर्णिया, कटिहार और बेगूसराय में 14-14,  भोजपुर और अररिया में-13, शेखपुरा में 3, जहानाबाद और लखीसराय में 5-5, कैमूर, सहरसा और जमुई में 9-9, मुंगेर में 6, किशनगंज में 7 बस स्टाॅप निर्माण का लक्ष्य रखा गया है.