ब्रेकिंग न्यूज़

बसपा प्रत्याशी चितरंजन कुमार को AIMIM ने दिया समर्थन, रोमांचक हुई वजीरगंज विधानसभा चुनाव Bihar Election 2025: चुनावी सभा में सम्राट चौधरी ने बताया ‘लालटेनिया’ का मतलब, लालू परिवार पर जमकर बरसे Bihar Election 2025: चुनावी सभा में सम्राट चौधरी ने बताया ‘लालटेनिया’ का मतलब, लालू परिवार पर जमकर बरसे Bihar Election 2025: बिहार के इस नक्सल प्रभावित इलाके में 73 साल बाद होगी वोटिंग, चुनाव को लेकर मतदाताओं में भारी उत्साह ब्रजेश ऑटोमोबाइल्स महिन्द्रा ने रचा नया कीर्तिमान, सितम्बर-अक्टूबर में 2035 वाहनों की डिलीवरी Bihar Election 2025: ‘लालू-नीतीश ने बिहार के बच्चों की पीठ पर मजदूरी का बोरा बांधा’, प्रशांत किशोर का बड़ा हमला Bihar Election 2025: ‘लालू-नीतीश ने बिहार के बच्चों की पीठ पर मजदूरी का बोरा बांधा’, प्रशांत किशोर का बड़ा हमला ISRO GSAT-7R Launch: ISRO ने नौसेना के लिए एडवांस्ड सैटेलाइट GSAT-7R को किया लॉन्च, अंतरिक्ष से समुद्री सीमा की होगी सख्त निगरानी ISRO GSAT-7R Launch: ISRO ने नौसेना के लिए एडवांस्ड सैटेलाइट GSAT-7R को किया लॉन्च, अंतरिक्ष से समुद्री सीमा की होगी सख्त निगरानी Pankaj Tripathi Mother Death: एक्टर पंकज त्रिपाठी की मां का निधन, हेमवती देवी ने 89 वर्ष की आयु में ली आखिरी सांस

Bihar News: तेज बारिश और तूफान ने बर्बाद की तैयार फसल, बिहार के किसानों ने कहा "अब कर्ज कैसे चुकाएंगे"

Bihar News: मुंगेर के तारापुर में तूफान-बारिश ने तैयार धान की फसल की बर्बाद। कटाई से पहले सब हुआ ख़त्म, किसान कर्ज चुकाने को लेकर भी हुए चिंतित..

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 02 Nov 2025 09:05:03 AM IST

Bihar News

प्रतीकात्मक - फ़ोटो रिपोर्टर

Bihar News: बिहार समेत उत्तर भारत के कई इलाकों में आए तेज तूफान और बारिश ने किसानों की कमर तोड़ दी है। धान की फसल पूरी तरह पकने के बाद खेतों में तैयार खड़ी थी, लेकिन अचानक आए इस तूफान ने सारी मेहनत पर पानी फेर दिया है। अब किसानों के चेहरे पर खुशी की जगह मायूसी और चिंता की लकीरें साफ देखी जा सकती हैं।


बीते 24 घंटे में आए तेज तूफान और भारी बारिश ने किसानों की सालभर की मेहनत पर गहरा असर डाला है। मुंगेर जिले के धान का कटोरा कहे जाने वाले तारापुर अनुमंडल में तेज हवा और बरसात के चलते खेतों में खड़ी धान की फसल बुरी तरह झुक गई है।


किसानों का कहना है कि फसल कटाई का समय आ चुका था, बस दो-चार दिन में खेतों में हँसी-खुशी कटनी शुरू होने वाली थी, लेकिन इस तूफान ने सबकुछ बर्बाद कर दिया। पूरे साल मेहनत की, अब जब फसल घर आने का वक्त आया, तूफान सब ले गया। अब ना धान बचेगा, ना मेहनत का दाम मिलेगा। किसान कर्ज लेकर फसल लगाए थे, अब वे कर्ज कैसे चुकाएंगे यह भी एक बड़ी परेशानी है।


रिपोर्टर: मो. इम्तियाज