ब्रेकिंग न्यूज़

Rajvir Jawanda: मशहूर पंजाबी सिंगर राजवीर जवंदा का निधन, सड़क हादसे में बुरी तरह हुए थे घायल Rajvir Jawanda: मशहूर पंजाबी सिंगर राजवीर जवंदा का निधन, सड़क हादसे में बुरी तरह हुए थे घायल ANANT SINGH : मोकामा विधानसभा सीट: पूर्व विधायक अनंत कुमार सिंह 14 अक्टूबर को करेंगे नामांकन, अभी तक नहीं तय हुआ विपक्षी कैंडिडेट का नाम Indian Air Force Day 2025: भारतीय वायु सेना का 93वां स्थापना दिवस आज, जानिए कब से हुई शुरुआत Cyber Crime News: स्विटजरलैंड में नौकरी कीजिएगा... विदेश में फर्जी नौकरी का झांसा देकर युवक से लाखों की लूट Bihar Politics: "NDA के सीट बंटवारे को लेकर उथल-पुथल, मांझी का बड़ा बयान, कहा - हमारी पार्टी चुनाव नहीं लड़ेगी!" Bihar Election 2025: कौन नेता बना सकता है सबसे अधिक बार विधानसभा चुनाव जीतने का रिकॉर्ड? जान लें... Bihar Police : बिहार पुलिस का गजब खेल ! SC-ST एक्ट की धारा लगाना ही भूल गई टीम; जानिए क्या है पूरी खबर BIHAR NEWS : बिहार में इस दिन होगी दीपावली की सरकारी छुट्टी, नीतीश सरकार का बड़ा फैसला Mirai OTT Release Date: तेजा सज्जा की 'मिराई' ने थिएटर्स में मचाया धमाल, अब ओटीटी पर आने को तैयार, जाने कब और कहां होगी रिलीज?

बिहार के स्कूलों में फोटो से रोजाना मॉनिटरिंग, अनुशासन और पढ़ाई पर शिक्षा विभाग की कड़ी नजर

बिहार के सरकारी स्कूलों में अनुशासन और शिक्षा गुणवत्ता की निगरानी के लिए रोजाना फोटो के ज़रिए मॉनिटरिंग शुरू, सभी गतिविधियों की रिपोर्टिंग अनिवार्य।

Bihar

23-Aug-2025 06:37 PM

By First Bihar

PATNA: शिक्षा विभाग ने राज्य के सभी सरकारी स्कूलों में अनुशासन के साथ शैक्षणिक गतिविधियों के संचालन के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश जारी कर रखे हैं। इनका सही से अनुपालन हो रहा है या नहीं, इसे रोजाना परखा भी जा रहा है। सभी स्कूलों में सुबह लगने वाली एसेंबली एवं प्रार्थना का फोटोग्राफ मांगवाया जाता है। किस स्कूल में क्या गतिविधि हो रही है, इसका फोटोयुक्त प्रमाण चुनिंदा स्कूलों से मंगवाया जाता है। 


स्कूलों का चयन रैंडम तरीके से किया जाता है। इससे किसी स्कूल को यह जानकारी नहीं होती है कि उससे कब फोटो की मांग होगी। किसी स्कूल का नंबर कभी भी आ सकता है। इस कारण सभी स्कूल अलर्ट मुद्रा में रहते हैं और रोजाना पूरी शिदद्त से रूटीन पालन करते हैं। इससे सभी स्कूलों की जमीनी सच्चाई सामने आ जाती है।


शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस सिद्धार्थ के स्तर से स्कूलों की चुस्त मॉनीटरिंग के लिए यह पूरी व्यवस्था विकसित की गई है। स्कूलों में चलने वाली शैक्षणिक एवं अन्य गतिविधियों की निगरानी के लिए औचक फोटोग्राफ मंगवाना शुरू किया है। इन फोटो में संबंधित स्थान का आक्षांस एवं देशांश के अलावा समय समेत अन्य सभी जरूरी बातें अंकित होती हैं। इससे यह सुनिश्चित हो सके कि सभी स्कूलों में विभाग के दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन किया जा रहा है या नहीं। 


विभाग ने विगत 20, 21 और 22 अगस्त को राज्य के सभी 38 जिलों के तीन-तीन स्कूलों का रैंडम तरीके से चयन कर इनमें होने वाली गतिविधियों से सम्बंधित तस्वीरें मंगवा कर समुचित समीक्षा की गई। इसमें पाया गया कि इन स्कूलों में विभाग के दिशा-निर्देश के अनुसार गतिविधियों का संचालन किया जा रहा था। अगर किसी स्कूल में सुबह निर्धारित समय की गतिविधि नहीं दिखती है, तो उसका कारण उस विद्यालय के प्रमुख को लिखित में बताना पड़ता है। किसी तरह की लापरवाही सामने आने पर उचित कार्रवाई भी की जाती है। डॉ. एस सिद्धार्थ के इन प्रयासों से सूबे के स्कूलों की पूरी सूरत ही बदल गई है। 


सरकारी स्कूलों में छात्रों के आने का समय सुबह 9:30 बजे निर्धारित किया गया है। इसी समय शिक्षक को उपस्थित होकर बच्चों के साथ चेतना सत्र की पूरी अवधि में सक्रिय रहना अनिवार्य है। विद्यालय में पढ़ाई के दौरान शिक्षक और बच्चे दोनों का फोटोग्राफ लेकर सुरक्षित रखा जा रहा है। विभागीय पदाधिकारियों के स्तर से फोटो मांगे जाने पर उसे उपलब्ध कराया जाना अनिवार्य है। बता दें कि इसे लेकर शिक्षा विभाग ने इसी वर्ष 4 अगस्त को एक अहम निर्देश जारी किया था, जिसका उद्देश्य राज्य के सरकारी स्कूलों में अनुशासन को सुदृढ़ बनाना और शिक्षकों की जिम्मेदारियों को स्पष्ट करना है। 


यह आदेश शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस सिद्धार्थ ने जारी किया गया है, जिसमें उन्होंने सभी जिला शिक्षा पदाधिकारियों, जिला कार्यक्रम पदाधिकारियों, अन्य संबंधित कार्यक्रम पदाधिकारियों और प्रखंड शिक्षा पदाधिकारियों को पत्र लिखकर कई तरह के दिशा-निर्देश दिए हैं। इस पत्र के माध्यम से सभी अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि विद्यालयों में बच्चों और शिक्षकों की उपस्थिति समय पर हो और स्कूल में अनुशासन का माहौल बना रहे। इस अनुशासन के जरिए शिक्षकों पर पूरी निगरानी रखी जाएगी। 


डॉ. एस सिद्धार्थ के इस लिखित आदेश के अनुसार, स्कूलों में लाउडस्पीकर की व्यवस्था करने का निर्देश दिया है। स्कूल शुरू होने से 15 मिनट पहले राष्ट्रगान बजाया जा रहा है। चेतना सत्र शुरू होने से पहले स्कूल का मेन गेट बंद कर दिया जाता है और देर से आने वाले छात्रों को अगले दिन स्कूल में प्रवेश नहीं दिये जाने का नियम बनाया गया है। आधे घंटे के चेतना सत्र में प्रार्थना, बिहार राज्य गीत, राष्ट्रगीत, सामान्य ज्ञान, तर्क ज्ञान, शब्द ज्ञान और प्रेरक कहानियां सुनाने जैसी गतिविधियां शामिल हैं। इस दौरान बच्चों के नाखून, बाल और यूनिफॉर्म की जांच भी की जा रही है। स्कूल की पहली तीन घंटियों में गणित, विज्ञान और हिंदी या अंग्रेजी की रीडिंग को प्राथमिकता दी जानी है, ताकि बच्चों में गणित कौशल, वैज्ञानिक नवाचार और वाक् कौशल विकसित हो सके।